देश के विकास में प्रवासी भारतीयों का अहम योगदान, साल 2022 में भेजे 100 अरब डॉलर
मध्य प्रदेश के इंदौर में केंद्र सरकार ने तीन दिवसीय ‘प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन’ का आयोजन किया गया। इस बार ‘प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन’ में 500 से अधिक प्रवासी भारतीयों ने हिस्सा लिया। भारत में सबसे बड़ी विदेशी मुद्रा आने का स्त्रोत भारतीय प्रवासी ही है। इसी को लेकर वित्तमंत्री सीतारमण ने ‘प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन’ के एक सत्र में प्रवासी भारतीय द्वारा जो भारत के विकास में योगदान रहा है उसके आंकड़े पेस किए है।
मध्य प्रदेश के इंदौर में केंद्र सरकार ने तीन दिवसीय ‘प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन’ का आयोजन किया गया। इस बार ‘प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन’ में 500 से अधिक प्रवासी भारतीयों ने हिस्सा लिया। भारत में सबसे बड़ी विदेशी मुद्रा आने का स्त्रोत भारतीय प्रवासी ही है। इसी को लेकर वित्तमंत्री सीतारमण ने ‘प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन’ के एक सत्र में प्रवासी भारतीय द्वारा जो भारत के विकास में योगदान रहा है उसके आंकड़े पेस किए है।
इस दौरान सीतारमण ने कहा कि, "साल 2022 के दौरान भारतवंशियों ने विदेश से देश में लगभग 100 अरब अमेरिकी डॉलर भेजे जो 2021 के मुकाबले 12 फीसदी ज्यादा है। लोगों ने सोचा था कि महामारी के प्रकोप के चलते भारत लौटे पेशेवर शायद लौटकर विदेश नहीं जाएंगे, लेकिन वे वहां पहले के मुकाबले ज्यादा तादाद में रोजगार के लिए गए और पहले के मुकाबले ज्यादा रकम देश में पहुंचाई।"
सीतारमण ने प्रवासी भारतीयों से अपील करते हुए कहा कि, "जहां तक हो सके वे भारत में बने प्रॉडक्ट्स का इस्तेमाल करे। जिससे दुनियाभर में भारत के ब्रांड का प्रचार हो सके। आजादी के अमृत काल के तहत देश इंफ्रास्ट्रक्चर, इन्वेस्टमेंट, इनोवेशन और इन्क्लूजन में तेजी से आगे बढ़ रहा है। भारत तेजी से सूचना प्रौद्योगिकी, डिजिटल तकनीक, ऑटोमोबाइल, सेमीकंडक्टर डिजाइनिंग आदि का वैश्विक केंद्र बन रहा है।"
बता दे, भारत में अब एप्पल से लेकर माइक्रोसॉफ्ट तक अपने कारखाने लगाने वाली है जिसके बाद ये अपने प्रोडक्ट को भारत में ही बनाकर उनको यहां बेचेगी। इसके पहले इन बड़ी कंपनियों को चीन और यूरोप की तरफ भागना पड़ता था लेकिन अब इनके प्रोडक्ट भारत में भी बनेंगे।
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