मुंबई, (भाषा) भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने बुधवार को यह साफ किया कि उसने किसी भी बाहरी एजेंसी को विनियमित इकाइयों के खिलाफ आने वाली सार्वजनिक शिकायतों के निपटारे का जिम्मा नहीं सौंपा है। आरबीआई ने सोशल मीडिया पर आई कुछ टिप्पणियों को देखते हुए अपने एक बयान में स्थिति साफ करने की कोशिश की है। रिजर्व बैंक- समेकित ओम्बड्समैन योजना 2021 (आरबी-आईओएस) के तहत शिकायतों के निपटान की व्यवस्था पहले से की गई है।
केंद्रीय बैंक ने कहा कि सोशल मीडिया पर प्रसारित इस संदेशों में लोगों से कहा जा रहा था कि वे रिजर्व बैंक की निगरानी में आने वाली इकाइयों के खिलाफ शिकायत शुल्क देकर तीसरे पक्षों से कर सकते हैं और जल्द सुनवाई भी करवा सकते हैं।
केंद्रीय बैंक ने कहा, ‘‘यह साफ किया जाता है कि आरबीआई का विनियमित इकाइयों के खिलाफ शिकायतों के निपटान के लिए किसी भी एजेंसी के साथ कोई प्रावधान नहीं है। आरबीआई ने आरबी-आईओएस के तहत नि:शुल्क शिकायत निपटान व्यवस्था लागू की हुई है जिसमें किसी भी शुल्क भुगतान का प्रावधान नहीं है।’’
रिजर्व बैंक ने कहा कि विनियमित इकाइयों के खिलाफ किसी भी तरह की शिकायत को ग्राहक संतोषजनक कार्रवाई न होने पर सीधे केंद्रीय बैंक के पोर्टल या ई-मेल के जरिये दर्ज करवा सकते हैं। आरबीआई ने कहा कि शिकायत प्रबंधन प्रणाली (सीएमएस) पोर्टल पर की गई शिकायत की प्रगति को भी देखा जा सकता है। First Updated : Wednesday, 09 March 2022