UPI Payments : भारत में तेजी से डिजिटल पेमेंट का उपयोग बढ़ता जा रहा है। लोग बाजार में सब्जी से लेकर घर के राशन और कपड़ों को खरीदने के लिए ऑनलाइन पेमेंट का इस्तेमाल कर रहे हैं। देश में अधिकतर लोग यूपीआई (UPI) के माध्यम से लेनदेन करते हैं। जिसके कारण आने वाले सालों में डिजिटल भुगतान में भारी वृद्धि देखने को मिलेगी। दरअसल भारतीय रिजर्व बैंक ने यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस यानी यूपीआई को लेकर बड़ी जानकारी दी है।
90 फीसदी होगा डिजिटल लेनदेन
आरबीआई ने बताया कि भारत में अगले पांच सालों में यूपीआई का खुदरा डिजिटल लेनदेन 90 प्रतिशत होने का अनुमान है। यूपीआई ने यूपीआई ऑटोपे फीचर के माध्यम से साल-दर साल 143 प्रतिशत की वृद्धि और अधिदेश पंजीकरण में 23 प्रतिशत बढ़त हुई है। जिसकी वजह से यूपीआई ने 9.4 बिलियन पेमेंट का एक मील का पत्थर हासिल किया है। आरबीआई मे कहा यह पेमेंट तेजी से बढ़ता जा रहा है।
QR कोड के इस्तेमाल में बढ़त
केंद्रीय बैंक ने जानकारी दी कि यूपीआई QR कोड के उपयोग में साल दर साल 44 फीसदी की बढ़त हुई है। वहीं पीओएस उपकरणों का प्रसार 27 प्रतिशत बढ़ा है। जिससे ग्राहकों और व्यापारियों को सुविधाएं मिली है। आरबीआई ने बताया कि देश में फास्टैग से 90 प्रतिशत से ज्यादा भुगतान करने वाले टोल प्लाजा की संख्या 70 फीसदी बढ़ी है।
मई में इतना ट्रांजेक्शन
भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम ने हाल ही में यूपीआई को लेकर आंकड़े जारी किए। जिसके अनुसार मई में यूपीआई के माध्यम से 9 अरब लेनदेन हुआ है। वहीं कुल मूल्य 14.3 ट्रिलियन था। यह अप्रैल में 14.07 ट्रिलियन मूल्य के 14.07 ट्रिलियन मूल्य के 8.89 बिलियन और मार्च में 14.05 ट्रिलियन मूल्य के 8.7 बिलियन लेनदेन हुआ था। First Updated : Saturday, 24 June 2023