केरल से इकलौते BJP सांसद सुरेश गोपी नहीं छोड़ेंगे मंत्री पद, बोले- यह पूरी तरह गलत है
Modi Cabinet: 9 जून, रविवार को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने पीएम मोदी समेत 72 सांसदों को मंत्री पद की शपथ दिलाई. इस बीच केरल से पहली बार जीत हासिल करने वाले बीजेपी सांसद सुरेश गोपी मोदी 3.0 कैबिनेट का साथ छोड़ने की इच्छा जाहिर की है. उन्होंने इसकी वजह भी बताई है तो चलिए जानते हैं.
Modi Cabinet: लोकसभा चुनाव में केरल से भाजपा को केवल एक सीट पर जीत मिली है. केरल के इकलौते BJP सांसद जीत के बाद कल मंत्री पद की शपथ ली है. शपथ लेने के एक दिन बाद उन्होंने मोदी 3.0 कैबिनेट का साथ छोड़ने की बात कही जा रही थी लेकिन ये खबर पूरी तरह गलत है. शपथ ग्रहण समारोह के बाद दिल्ली में एक क्षेत्रीय चैनल से बातचीत करने के दौरान उन्होंने कहा कि उन्होंने मंत्री पद नहीं मांगा है और उन्हें उम्मीद है कि उन्हें जल्द ही इस पद की जिम्मेदारी से आजाद कर दिया जाएगा.
बता दें कि, बीजेपी सांसद सुरेश गोपी एक अभिनेता हैं. उन्होंने लोकसभा में अपनी जीत के बाद कहा था कि, हमारे लिए बहुच प्रार्थनाएं हो रही हैं हमारे लिए आगे के पांच साल बहुत कठिन होंगे. इसके साथ ही उन्होंने मंत्रालय का हिस्सा बनने से भी इनकार कर दिया था और अपने निर्वाचन क्षेत्र के लिए एक सांसद के रूप में काम करने का संकल्प लिया है.
कौन हैं केरल के इकलौते BJP सांसद
केरल में पहली बार कमल खिलाने वाले सांसद सुरेश गोपी एक भारतीय एक्टर राजनीतिज्ञ, पार्श्व गायक और टेलीविजन प्रोड्यूसर हैं. उनका जन्म 26 जून 1958 में केरल में हुआ था. सुरेश गोपी मुख्य रूप से मलयालम सिनेमा में काम करते हैं और कुछ तमिल, तेलुगु, कन्नड़ और बॉलीवुड फिल्मों में भी दिखाई दिए हैं. उन्हें मलयालम फिल्म का सुपरस्टार कहा जाता है.
250 से ज्यादा फिल्मों में किया है काम
सुरेश ने 1965 की फिल्म ओडायिल निन्नू में एक चाइल्ड एक्टर के रूप में अभिनय किया था. वहीं इसके बाद जब वो बड़े हो गए तब उन्होंने साल 1986 में फिल्मी दुनिया में शुरुआत की. तब से लेकर अब तक उन्होंने लगभग 250 से अधिक फिल्मों में काम किया है. साल 1998 में उन्हें फिल्म 'कलियाट्टम' में उनके काम के लिए सर्वश्रेष्ठ अभिनेता का राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार और सर्वश्रेष्ठ अभिनेता के लिए केरल राज्य फिल्म पुरस्कार से नवाजा गया था.
सुरेश गोपी का राजनीतिक करियर
राज्यसभा सांसद सुरेश गोपी केरल के जिस त्रिशूर सीट जीत का परचम लहराया है वो सीट पिछले चुनाव में कांग्रेस के खाते में चली गई थी. सुरेश गोपी लोकसभा सांसद बनने से पहले राज्यसभा सांसद भी रह चुके हैं. साल 2016 में उन्हें राज्यसभा के लिए मनोनीत किया था.इस पद पर वह 2022 तक रहे थें.2019 से 2022 तक, वे जनजातीय मामलों के मंत्रालय और नारियल विकास बोर्ड की परामर्शदात्री समिति के सदस्य भी थे.
क्यों छोड़ना चाहते हैं मोदी कैबिनेट का साथ
दरअसल, सुरेश गोपी अपने मंत्री पद छोड़ने की वजह बताते हुए कहा कि, उन्होंने फिल्म प्रोजेक्ट साइन की है और उन्हें काम करना है. उन्होंने आगे कहा कि त्रिशूर के सांसद के रूप में ही वो काम करेंगे. बता दें कि, केरल की त्रिशूर में भाजपा की कमल खिलाने वाले सुरेश गोपी लोकसभा चुनाव में शानदार जीत हासिल किए हैं. इस जीत के लिए उन्हें मोदी कैबिनेट में मंत्री पद दिया गया है लेकिन वो इस पद की जिम्मेदारी संभालने से मना कर दिए हैं क्योंकि उन्होंने फिल्म साइन कर दी है.