Mangos in Diabetes: आ गया आम का मौसम, क्या शुगर के मरीज खा सकते हैं आम? अगर हां तो कैसे
आपको बता दें कि भले ही आम काफी रसीला और मीठा होता है लेकिन इसका ग्लाइकोसेमिक इंडेक्स यानी जीआई स्कोर महज 51 होता है। जिन खाद्य पदार्थों का ग्लाइकोसेमिक इंडेक्स 55 से कम होता है वो खाद्य पदार्थ लो ग्लाइकोसेमिक इंडेक्स की श्रेणी में आते हैं और डायबिटीज रोगी इन खाद्य पदार्थों को आराम से का सकते हैं।
गर्मियों की दस्तक आते ही बाजार में आम की बहार दिख रही है। आम गर्मियों का ऐसा फल जो जो भरपूर मिठास के साथ साथ खूब सारा पोषण भी देता है। आम के ढेर सारे पोषक तत्वों की वजह से ही इस फलों का राजा कहा गया है। विटामिन सी से भरपूर रसीला आम ना केवल प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत करता है बल्कि पाचन तंत्र को भी मजबूत करता है। लेकिन क्या शुगर के मरीज आम खा सकते हैं, अगर हां तो शुगर के मरीजों को आम का सेवन कैसे करना चाहिए, चलिए यहां जानते हैं।
आम के पोषक तत्व -
आम के फायदे -
आम में ढेर सारे पाचन एंजाइम होते हैं जिसकी मदद से पाचन तंत्र को मजबूत रखने में मदद मिलती है और मेटाबॉलिज्म तेज होता है।
आम में पाया जाने वाला विटामिन सी शरीर की प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत करता है जिससे गर्मियों में मौसमी बीमारियां और बैक्टीरिया दूर रहते हैं।
आम को दिल का ख्याल रखने के लिए भी फायदेमंद कहा जाता है, इसके एंटी ऑक्सिडेंट दिल को बेहतर बनाने में मदद करते हैं और इसमें पाए जाने वाले फाइबर और पोटैशियम दिल को स्ट्रोक जैसी गंभीर बीमारियों को दूर रखने में मददगार साबित होते हैं।
वजन कम करने में आम का बहुत बड़ा रोल है, आम में ढेर सारा डायटरी फाइबर पाया जाता है जिसके सेवन से देर तक भूख नहीं लगती और वजन नियंत्रित करने में मदद मिलती है।
आम में मौजूद मेग्नीशियम थायरॉइड की समस्या को दूर करने में मदद करता है, इसके अलावा आम में पाया जाने वाला पोटैशियम उच्च रक्तचाप को नियंत्रित करने में अहम भूमिका निभाता है।
क्या शुगर के मरीज खा सकते हैं आम? -
आपको बता दें कि भले ही आम काफी रसीला और मीठा होता है लेकिन इसका ग्लाइकोसेमिक इंडेक्स यानी जीआई स्कोर महज 51 होता है। जिन खाद्य पदार्थों का ग्लाइकोसेमिक इंडेक्स 55 से कम होता है वो खाद्य पदार्थ लो ग्लाइकोसेमिक इंडेक्स की श्रेणी में आते हैं और डायबिटीज रोगी इन खाद्य पदार्थों को आराम से का सकते हैं। कुछ साल पहले अमेरिका में आम को लेकर हुए एक शोध में कहा गया है कि शुगर रोगी नियंत्रित मात्रा में आम का सेवन कर सकते हैं। अगर लिमिट मात्रा में आम खाया जाए यानी कम आम खाया जाए तो ये शरीर में जाकर ग्लूकोज के ब्रेकडाउन में मदद करता है जिससे शुगर का लेवल नियंत्रित होने में मदद मिलती है। यानी आम अगर कम मात्रा में खाया जाए तो शुगर के मरीज को फायदा कर सकता है।
इसके साथ साथ आपको आम खाने से पहले अपने डॉक्टर को अपनी शुगर की रिपोर्ट दिखानी होगी और उनकी सलाह के बाद ही शुगर मरीज को आम का सेवन करना चाहिए क्योंकि हो सकता है कि किसी शुगर रोगी का शुगर ज्यादा बढ़ा हो और वो ज्यादा आम खा ले तो खतरा हो सकता है।
वहीं दूसरी तरफ एक अध्ययन ये भी कहता है कि डायबिटीज के मरीजों को ज्यादा आम का सेवन नहीं करना चाहिए क्योंकि आम में 30 फीसदी शुगर फ्रुक्टोज के रूप में मौजूद होती है। जैसे ही हम ज्यादा आम का सेवन करते हैं तो लिवर में फ्रूट शुगर के होने वाले अवशोषण से बॉडी में ट्राइग्लिसराइड का स्तर बढ़ सकता है। ऐसे में आम शुगर रोगी को नुकसान कर सकता है। ऐसे में डायबिटीज में इसका सेवन समस्याओं का कारण बन सकता है।
डॉक्टर कहते हैं कि अगर मरीज का शुगर का स्तर काफी दिनों से सही स्तर पर है तो वो आम की एक से दो फांक खा सकता है और वो भी दिन में ही सेवन करना चाहिए। इसके अलावा अगर आपका शुगर लेवल बढ़ा हुआ रहता है तो आपको आम का सेवन नहीं करना चाहिए।
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