पीलीभीत से भाजपा सांसद वरुण गांधी पिछले काफी दिनों से केंद्र सरकार और यूपी की योगी सरकार पर हमलावर हैं। लगातार वो ट्वीट और अपने बयानों के माध्यम से यूपी की बीजेपी सरकार पर निशाना साध रहे हैं तो वहीं केंद्र को भी नहीं छोड़ रहे हैं। ऐसे ही बागी तेवर के साथ एक बार फिर उन्होंने बीजेपी को नाराज करने वाला काम किया है। इस बार वरुण गांधी ने अपनी पार्टी पर निशाना तो नहीं साधा है। बल्कि प्रतिद्वंदी अखिलेश यादव की जमकर तारीफ कर दी है, जिससे बीजेपी असहज हो गई है।
वरुण बोले अखिलेश की मदद से मैने यूपी में किसानों के हित में किया काम
बीजेपी सांसद ने कहा,‘मैंने एक दिन सोचा कि वो कौन से आर्थिक मानक हैं, जो किसानों से लेकर आम आदमी के लिए काम करे, मै जानना चाहता था कि आखिर किसान क्यों आत्महत्या करने पर मजबूर होते हैं, चूंकि उस वक्त अखिलेश यादव सीएम थे.. इसलिए मैंने उनको चिट्ठी लिखी और कहा कि मान्यवर इसमें कोई राजनीति नहीं है, लेकिन अगर मुझे प्रशासन से जानकारी मिल जाए कि पूरे प्रदेश में कितने लोग हर जिले में इस मानक के अंतर्गत आएं हैं तो उन्होंने बड़ा मन दिखाकर सारे अधिकारियों को बोला कि इनकी मदद करिए, ये कुछ करना चाहते हैं। जिसके बाद मैंने करीब 42हजार लोगों की सूची बनाई। मैंने सोचा कि इतना बड़ा काम शायद मैं अकेले नहीं कर पाऊंगा। तब मैंने सोचा कि ये काम कैसे हमलोग कर सकते हैं।
वरुण गांधी ने आगे कहा है कि "हमने इसकी शुरूआत सबिजनौर जिले से की और फिर मुरादाबाद, अलीगढ़, हाथरस से गोरखपुर तक पहुंचे, हमने वहां के रईस लोगों से अनुरोध किया कि आप लोग आगे आएं.. इस तरह से हम परेशान किसानों के लिए कुछ करने में समर्थ हो पाये, जिसमें अखिलेश यादव ने मदद की।
भाजपा सांसद के बयान से राजनीतिक हलकों में चर्चाएं शुरु
अखिलेश यादव की इस तारीफ के बाद लगातार राजनीतिक हलकों में चर्चा शुरु हो गई है। कि क्या राहुल गांधी के विचार धारा नहीं मिलने के बयान के बाद वरुण गांधी अखिलेश यादव की तारीफ कर रहे हैं। क्योंकि वरुण गांधी के कांग्रेस के अलावा सपा से नजदीकियों की चर्चा काफी दिनों से हो रही थी, वहीं अब इसमें तेजी आ गई है।
बता दें कि अगले साल होने वाले 2024 लोकसभा चुनाव से पहले उनकी बीजेपी से विदाई तय मानी जा रही है। क्योंकि बीजेपी को लगातार अपने बयानों से अचंभित करते रहे हैं। पुलिस में भर्ती के साथ ही किसनों को मुद्दे पर भी वरुण हमलावर रहे हैं। इससे पहले वरुण गांधी ने पिछले साल हुई PET की परीक्षा को लेकर भी योगी सरकार को घेरा था. दरअसल, PET की परीक्षा के लिए सेंटर सैकड़ों किलोमीटर दूरी पर बनाए गए थे. परिवहन की सुविधा नहीं होने पर छात्रों को परेशानी का सामना करना पड़ा था। First Updated : Wednesday, 18 January 2023