अब भारत में अपराध करने वाले या विदेश भागने वाले अपराधियों का पकड़ना और भी आसान होगा. गृह मंत्रालय ने ‘भारतपोल’ नामक एक नई पहल शुरू करने का निर्णय लिया है, जो इंटरपोल की तरह काम करेगी. इस सिस्टम के जरिए राज्य पुलिस को अपराधियों की जानकारी साझा करने और उनके खिलाफ तुरंत कार्रवाई करने में मदद मिलेगी. भारतपोल की शुरुआत 7 जनवरी को गृह मंत्री अमित शाह नई दिल्ली में करेंगे. आइए जानते हैं कि भारतपोल क्या है, इसकी आवश्यकता क्यों पड़ी और इसके फायदे क्या होंगे?
भारतपोल का उद्देश्य सिर्फ अपराधियों को पकड़ना नहीं, बल्कि समय रहते उनके खिलाफ कार्रवाई करना और अपराध को जड़ से खत्म करना है. यह एक ऑनलाइन पोर्टल है, जिसे सीबीआई ने तैयार किया है. इस पोर्टल का ट्रायल पहले ही हो चुका है, और अब इसकी औपचारिक शुरुआत होने वाली है.
इंटरपोल (INTERPOL) यानी इंटरनेशनल क्रिमिनल पुलिस ऑर्गनाइजेशन, दुनिया का सबसे बड़ा अंतरराष्ट्रीय पुलिस संगठन है. यह 195 देशों की पुलिस को जोड़ता है और देशों के बीच अपराधियों के बारे में जानकारी साझा करता है. इसके जरिए देशों की पुलिस एक-दूसरे से जुड़ी रहती हैं और अपराधियों को पकड़ने के लिए नोटिस जारी किए जाते हैं. भारत की तरफ से सीबीआई इस संस्था से जुड़ी है.
मान लीजिए कि किसी व्यक्ति ने भारत में अपराध किया और फिर वह स्विट्जरलैंड भाग गया. भारत की पुलिस स्विट्जरलैंड में उसे नहीं पकड़ सकती, लेकिन इंटरपोल उसकी मदद करेगा. भारत उस अपराधी की जानकारी इंटरपोल को देगा और इंटरपोल उसकी गिरफ्तारी के लिए नोटिस जारी करेगा. इंटरपोल दो मुख्य नोटिस जारी करता है:
रेड नोटिस – यह वॉन्टेड अपराधियों के लिए होता है.
पीला नोटिस – यह गुमशुदा लोगों के लिए जारी होता है.
भारत में जब अपराधी विदेश भाग जाते हैं, तो राज्य पुलिस को अक्सर इंटरपोल का सहारा लेना पड़ता है. वर्तमान प्रक्रिया में, राज्य पुलिस को पहले सीबीआई से संपर्क करना होता है, फिर सीबीआई इंटरपोल से संपर्क करके नोटिस जारी करवाती है. यह प्रक्रिया जटिल और समय-consuming होती है.
भारतपोल की शुरुआत से यह प्रक्रिया सरल और तेज हो जाएगी. अब राज्य पुलिस को सीधे भारतपोल के जरिए इंटरपोल से संपर्क करने की सुविधा मिलेगी. इससे अपराधियों के खिलाफ रेड नोटिस, डिफ्यूजन नोटिस और अन्य जरूरी नोटिस जल्दी जारी किए जा सकेंगे.
भारतपोल के माध्यम से नोटिस सीधे इंटरपोल से जारी नहीं होंगे, लेकिन इसके जरिए पुलिस इंटरपोल से सीधे अनुरोध भेज सकती है. यदि इंटरपोल उस अनुरोध को स्वीकार करता है, तो संबंधित अपराधी के खिलाफ रेड नोटिस या डिफ्यूजन नोटिस जारी किए जाएंगे. First Updated : Monday, 06 January 2025