'न खाद की चिंता, न मौसम की मार', किसानों के लिए खास स्कीम ला रही है मोदी सरकार
climate-resilient farming: भारत सरकार किसानों के लिए बड़ी योजना तैयार कर रही है. इससे किसानों को खेती करने के लिए ना तो अब खाद कि चिंता करने की जरूरत है और ना ही खराब मौसम होने से फसल खराब होने की. सरकार 50 हजार गांवो में खेत में फर्टिलाइजर करने के लिए स्किम तैयार की है. सरकार ने कृषि को बढ़ावा देने के लिए रूपरेखा का अनावरण करने की योजना बना रही है.
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climate-resilient farming: लोकसभा चुनाव 2024 के बाद सरकार बनाकर बीजेपी किसानों के लिए लगातार काम कर ही है. शपथ ग्रहण करते ही पीएम ने किसानों के लिए बड़ा ऐलान किया. अब भारत सरकार ने किसानों के लिए कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय 100 दिवसीय एजेंडे के हिस्से के रूप में शुरू करने की योजना बना रहा है. जिससे किसानों को काफी लाभ होगा.
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, मंत्रालय इन 50,000 गांवों में जलवायु-लचीली फसल के किस्मों को बढ़ावा देने की योजना बना रहा है. इसके लिए भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद ने खाद्य उत्पादन में सुधार के लिए 2,000 से ज्यादा ऐसी किस्में विकसित की हैं.
100 दिन का एजेंडा तैयार
किसानों को मुनाफा देने के लिए सरकार ने 100 दिन का ऐजेंडा तैयार किया है. जिसमें ना तो किसानों को खाद खराब होने की चिंता नहीं करनी पड़ेगी. इसके अलावा सरकार ने मौसम खराब होने पर फसल को सुरक्षित रखने का भी निजात पा लिया है. इनमें अजैविक तनाव-सहिष्णु किस्में और जैविक तनाव-सहिष्णु किस्में दोनों शामिल हैं
रूपरेखा तैयार की जा रही
मिली हुई जानकारी के अनुसार बीजेपी सरकार अभी रूपरेखा तैयार कर रही है,लेकिन ये पता चला है कि ढांचे में कम पानी की खपत वाली फसलों को बढ़ावा देने, संबंधित क्षेत्रों में जल स्रोतों का संरक्षण और उर्वरक इनपुट की निगरानी जैसे उपाय शामिल हो सकते हैं. जिसके किसानों को अधिक लाभ मिलेगा.
50,000 गांवों का किया शामिल
सूत्र के अनुसार अधिकारी 310 जिलों से 50,000 गांवों का चयन करेंगे जिनकी पहचान पहले से ही जलवायु की दृष्टि से संवेदनशील के रूप में की गई है. ये 310 जिले 27 राज्यों में फैले हुए हैं, जिनमें सबसे ज्यादा जिले उत्तर प्रदेश 48 में हैं, जो की 48 है. इसके बाद राजस्थान है जहां पर 27 जगह है. ये पूरी स्किन 5 साल तक चलने वाली है. इसकी फंडिंग मौजूदा योजनाओं के साथ अभिसरण के माध्यम से आएगी.