‘हम एक ही रात में हो गए बर्बाद’, रामबन के लोगों की दर्दभरी कहानी
जम्मू-कश्मीर के रामबन ज़िले में भारी बारिश और ओलावृष्टि के कारण हुए भूस्खलन और बाढ़ से भारी तबाही मची है. कई घर और दुकानें पूरी तरह तबाह हो गईं. लोगों को जान-माल का बड़ा नुकसान हुआ है. प्रशासन राहत कार्य में जुटा है, लेकिन लोग सरकार से मदद की गुहार लगा रहे हैं.

पिछले कुछ दिनों से जम्मू-कश्मीर में मौसम लगातार खराब है और लगातार तेज़ बारिश हो रही है. इस बारिश ने लोगों की ज़िंदगी को बुरी तरह प्रभावित किया है. रविवार को रामबन ज़िले के बागना इलाके में बादल फट गया, जिससे बड़ा नुकसान हुआ. इस हादसे में 3 लोगों की मौत हो गई है और कई इमारतें और गाड़ियां तबाह हो गई हैं. कई रास्ते भी बंद हो गए हैं.
बारिश और बादल फटने से कई लोगों के घर और दुकानें पूरी तरह से टूट गईं. लोगों का कहना है कि एक रात की बारिश ने उनका सब कुछ छीन लिया. स्थानीय लोग सरकार से मदद की मांग कर रहे हैं. रामबन के एसएसपी कुलबीर सिंह ने बताया कि पुलिस ने समय रहते करीब 100 लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला. सभी पुलिस थानों को अलर्ट पर रखा गया है.
मुख्यमंत्री और केंद्रीय मंत्री की प्रतिक्रिया
मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने सोशल मीडिया पर कहा कि प्रशासन पूरी तरह से सतर्क है और राहत-बचाव का काम किया जा रहा है. केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने बताया कि हादसे की वजह से राष्ट्रीय राजमार्ग 44 बंद हो गया है.
"पूरा बाजार ही बह गया"
रामबन के रहने वाले ओम सिंह ने बताया, "मैं दूर रहता हूं, जब यहाँ आया तो देखा कि मेरी दुकान समेत पूरा बाजार ही बह गया था. ऐसा मैंने कभी नहीं देखा." वहीं दुकानदार रवि कुमार ने बताया कि उनकी दो दुकानें रातों-रात गायब हो गईं, जिनमें लाखों का सामान था.
"हमारा सब कुछ खत्म हो गया"
एक और स्थानीय निवासी ने बताया, "सुबह 4 बजे पता चला कि बाजार बह गया है, जब आए तो देखा कुछ भी नहीं बचा. हमारी दुकानें ही हमारी ज़िंदगी का सहारा थीं, अब कुछ भी नहीं बचा. हम सरकार से मदद और कर्ज माफ़ी की मांग करते हैं."
होटल का हिस्सा मलबे में दबा
जम्मू के सुनील कुमार ने बताया कि वह श्रीनगर जा रहे थे और बारिश की वजह से रामबन में होटल में रुके. सुबह 3 बजे होटल की दो मंजिलें गिर गईं और मलबे में दब गईं. करीब 15 लोग मलबे में फंसे थे, जिन्हें बचा लिया गया. सुनील कुमार की नई कार भी मलबे में बुरी तरह फंस गई है. उन्होंने बताया कि 8-10 गाड़ियां मलबे में दब चुकी हैं.


