अमित शाह के बयान पर भड़के अरविंद केजरीवाल, नीतीश-नायडू को लिखी ये चिट्ठी
Kejriwal letter: एक तरफ अंबेडकर विवाद पर बवाल मचा हुआ है तो दूसरी तरफ केजरीवाल ने चिट्ठी लिख कर एक नई चाल चली है. कांग्रेस समेत कई विपक्षी दल पहले ही बीजेपी पर निशाना साध चुके हैं और अब केजरीवाल ने एनडीए के नेताओं को चिट्ठी लिखी है.
Bhimrao Ambedkar Controversy: आम आदमी पार्टी के संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने गृह मंत्री अमित शाह के बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर पर दिए गए बयान को लेकर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू को पत्र लिखा है. इस पत्र में केजरीवाल ने कहा कि बाबा साहेब अंबेडकर सिर्फ एक नेता नहीं, बल्कि इस देश की आत्मा हैं.
गृह मंत्री के बयान पर जताई नाराजगी
आपको बता दें कि अरविंद केजरीवाल ने अपने पत्र में गृह मंत्री अमित शाह द्वारा संसद में दिए गए बयान का उल्लेख करते हुए इसे देश के करोड़ों लोगों की भावनाओं को ठेस पहुंचाने वाला बताया. अमित शाह ने कहा था, ''अंबेडकर-अंबेडकर बोलना आजकल फैशन बन गया है.'' इस टिप्पणी पर केजरीवाल ने कहा, ''यह बयान न केवल अपमानजनक है बल्कि बीजेपी की बाबा साहेब और हमारे संविधान के प्रति असली सोच को उजागर करता है.''
माफी की जगह बयान को ठहराया उचित
वहीं आपको बता दें कि केजरीवाल ने इस बात पर भी नाराजगी जताई कि अमित शाह ने इस बयान के लिए माफी मांगने के बजाय इसे उचित ठहराया. उन्होंने लिखा, ''बाबा साहेब, जिन्होंने भारत के संविधान को रचा और वंचित वर्गों के अधिकारों की नींव रखी, उनके बारे में ऐसा कहना साहसिक नहीं बल्कि शर्मनाक है. इस बयान ने देशभर के करोड़ों लोगों की भावनाओं को आहत किया है.''
प्रधानमंत्री ने दिया समर्थन, बढ़ा विवाद
बताते चले कि अरविंद केजरीवाल ने पत्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर भी निशाना साधा. उन्होंने लिखा, ''प्रधानमंत्री ने सार्वजनिक रूप से अमित शाह के बयान का समर्थन किया. यह समर्थन जले पर नमक छिड़कने जैसा है। इससे यह स्पष्ट होता है कि बीजेपी के लिए बाबा साहेब और उनके विचारों की कोई अहमियत नहीं है.''
नीतीश और नायडू से की अपील
इसके अलावा आपको बता दें कि केजरीवाल ने अपने पत्र में नीतीश कुमार और चंद्रबाबू नायडू से अपील की है कि वे इस मुद्दे पर गहराई से विचार करें. उन्होंने कहा, ''लोगों को अब ऐसा लगने लगा है कि बाबा साहेब को चाहने वाले बीजेपी का समर्थन नहीं कर सकते. यह समय है कि हम इस मसले पर अपनी आवाज बुलंद करें.''