इमरजेंसी के समर्थक थे बालासाहेब ठाकरे, आपातकाल का जिक्र कर संजय राउत ने BJP पर बोला हमला
Sanjay Raut on Emergency: संजय राउत ने कहा कि 1975 में शिवसेना संस्थापक बालासाहेब ठाकरे ने तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी द्वारा लगाए गए आपातकाल का खुलकर समर्थन किया था. राउत ने बीजेपी के उस बयान पर निशाना साधा, जिसमे उसने बालासाहेब का समर्थन किया था और इमरजेंसी का विरोध किया था.
Sanjay Raut on Emergency:18 वीं लोकसभा के संसद सत्र के दौरान सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच आपातकाल के मुद्दे को लेकर बेहद कहासुनी देखने को मिली है. इस दौरान भाजपा की नेतृत्व वाली एनडीए सरकार ने कांग्रेस को आपातकाल का जिक्र बेहद खरी-खोटी सुनाने का काम किया तो वही कांग्रेस ने भी भाजपा को महंगाई और बेरोजगारी के मुद्दे पर घेरा. इस बीच अब शिवसेना (यूबीटी) सांसद संजय राउत ने आपातकाल का जिक्र कर भाजपा पर निशाना साधने का काम किया है.
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, संजय राउत ने कहा कि 1975 में शिवसेना संस्थापक बालासाहेब ठाकरे ने तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी द्वारा लगाए गए आपातकाल का खुलकर समर्थन किया था. राउत ने बीजेपी के उस बयान पर निशाना साधा, जिसमे उसने बालासाहेब का समर्थन किया था और इमरजेंसी का विरोध किया था.
संजय राउत ने बीजेपी पर बोला हमला
इस दौरान संजय राउत ने आगे बोलते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह बालासाहेब ठाकरे के नाम पर वोट मांग रहे हैं. राउत ने सेना के मुखपत्र सामना में प्रकाशित अपने साप्ताहिक कॉलम रोकटोक में लिखा, ”पीएम मोदी और शाह आपातकाल के खिलाफ हैं, बालासाहेब ठाकरे उस आपातकाल के समर्थक थे. इंदिरा गांधी ने देश में आपातकाल लगाने का साहस दिखाया था. उस समय शिवसेना प्रमुख बालासाहेब ठाकरे ने इसके लिए खुला समर्थन जताया था."
आपातकाल को बताया सही
इस बीच आपातकाल लगाने को सही ठहराते हुए संजय राउत ने कहा, “बीजेपी आपातकाल का मुद्दा उठा रही है जो 50 साल पहले लगाया गया था. वह आपातकाल को भूल नहीं पा रही है जिससे उसकी कमजोर मानसिकता का साफ पता चलता है. 25 जून, 1975 को सशस्त्र बलों से विद्रोह करने की अपील की गई. यह देश में अशांति पैदा करने की कोशिश की शुरुआत थी और विपक्षी नेता खुलेआम पुलिस को सरकारी निर्देशों का पालन नहीं करने के लिए मजबूर कर रहे थे. वे देश के ख़िलाफ़ विद्रोह भड़का रहे थे. हमारे शत्रु देशों द्वारा स्थिति का लाभ उठाने की संभावना थी और इसीलिए इंदिरा गांधी ने देश में आपातकाल लगाया.”