Chandrayaan-3: भारत के चंद्रयान -3 मिशन ने अपनी चंद्र खोज में एक और कदम आगे बढ़ा लिया है. अंतरिक्ष यान का 'विक्रम' लैंडर मॉड्यूल गुरुवार को प्रणोदन मॉड्यूल से सफलतापूर्वक अलग हो चुका है. चंद्रयान-3 मिशन के लैंडर का नाम विक्रम साराभाई (1919-1971) के नाम पर रखा गया है, जिन्हें व्यापक रूप से भारतीय अंतरिक्ष कार्यक्रम का जनक माना जाता है.
इसरो के अनुसार 23 अगस्त को चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर अपनी निर्धारित लैंडिंग से एक सप्ताह पहले, अंतरिक्ष यान ने बुधवार को चंद्रयान-3 अंतरिक्ष यान की अंतिम चंद्र-बाउंड कक्षा कटौती प्रक्रिया को अंजाम दिया है. अंतरिक्ष यान के प्रक्षेपण के लिए एक जीएसएलवी मार्क 3 (LVM 3) हेवी-लिफ्ट लॉन्च वाहन का उपयोग किया गया था जिसे 5 अगस्त को चंद्र कक्षा में स्थापित किया गया था और तब से यह कक्षीय युद्धाभ्यास की एक श्रृंखला के जरिए से चंद्रमा की सतह के करीब उतारा गया है.
बता दें कि भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन द्वारा 14 जुलाई को यानी एक महीना और दो दिन चंद्रयान-3 मिशन अंतरिक्ष यान को आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा में सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से लॉन्च किया गया था. इसरो चंद्रमा पर सफल सॉफ्ट लैंडिंग करने के बाद भारत दुनिया का चौथा देश बन जाएगा. First Updated : Thursday, 17 August 2023