Corona New Subvariant: कोरोना महामारी ने फिर बढ़ाई चिंता, देश में नए सबवेरिएंट जेएन.1 ने दस्तक दे दी है. आइसलैंड, फ्रांस, अमेरिका और यूके में इस वैरियएंट के कई मामले सामने आने के बाद अब केरल में भी पाया गया है. सबवेरिएंट जेएन.1 के मामले सामने आते ही स्वास्थ्य महकमें में हड़कंप मच गया. कोरोना महामारी ने पिछले वर्षों में पूरी दुनिया को झकझोर कर रख दिया था. कोरोना का खतरा अभी पूरी तरह से टला नहीं है. पिछले कुछ समय से कोरोना के मामलों में कमी जरूर आई है. लेकिन बीच-बीच में इस वायरस के नए वैरिएंट लोगों की चिंता बढ़ाते रहते है. वहीं, एक बार फिर से कोरोना के नए वैरिएंट ने दस्तक दे दी है, जिसे लोगों की चिंता बढ़ गई है. कोरोना महामारी की शुरुआत चीन से हुई थी.
कोरोना के नए सबवेरिएंट जेएन.1 ने दस्तक दे दी है. कोरोना का ये सबवेरिएंट सबसे पहले लक्जमबर्ग में पहचाना गया. उसके बाद आइसलैंड, फ्रांस, अमेरिका और यूके में इस वैरियएंट के कई मामले सामने आए. वहीं, अब भारत में भी जेएन.1 वैरिएंट ने दस्तक दे दी है. इस वैरिएंट से जुड़ा एक मामला केरल में पाया गया. इस मामले के सामने आते ही स्वास्थ्य महकमें में हड़कंप मच गया. आइये जानते है इस वैरिएंट से जुड़ी कुछ बाते जो आपके लिए जानना जरूरी है.
कोरोना सबवेरिएंट जेएन.1
डिजीज कंट्रोल एंड प्रीवेंशन सेंटर (CDC) के अनुसार, कोरोना का सबवेरिएंट जेएन.1 ओमिक्रॉन सबवेरिएंट BA.2.86 का हिस्सा है. जो पिरोला के नाम से जाना जाता है. वैज्ञानिकों के अनुसार, JN.1 और BA.2.86 के बीच सिर्फ एक ही अंतर है. स्पाइक प्रोटीन में बदलाव है. स्पाइक प्रोटीन जिसे स्पाइक भी कहा जाता है. यह वायरस की सतह पर छोटे स्पाइक्स जैसा दिखाई देता है. जिसके कारण से लोगों में वायरस का संक्रमण ज्यादा तेजी से फैलता है.
कोरोना सबवेरिएंट जेएन.1 के लक्षण को लेकर सीडीसी ने बताया कि इस वेरिएंट के अभी तक कोई खास लक्षण नजर नहीं आए हैं. ऐसे में यह पता लगा पाना मुश्किल है कि इसके लक्षण कोविड-19 के अन्य वेरिएंट से अलग है या नहीं. बता दें कोरोना के आम लक्षण बुखार, लगातार खांसना, जल्दी थकान होना, नाक बंद या जाम हो जाना, नाक का बहना, दस्त, सिर में दर्द हैं.
जेएन.1 सबवेरिएंट को लेकर और इसके लक्षणों को लेकर अभी कोई भी जानकारी साफ नहीं हुई हैं. सीडीसी के अनुसार, ये सबवेरिएंट ज्यादा संक्रामक है या फिर यह हमारे इम्यून सिस्टम से आसानी से बच सकता है. इस वैरिएंट से जुड़ी अभी कोई जानकारी साफ न होने कारण यह वैरिएंट कितना संक्रामक है पता लगा पाना मुशकिल है. साथ ही उन्होंने यह भी साफ किया कि मौजूदा समय में इस बात का कोई सबूत नहीं है कि JN.1 वर्तमान में मौजूद कोरोना के अन्य वेरिएंट की तुलना में ज्यादा खतरनाक है या नहीं. First Updated : Saturday, 16 December 2023