Air Pollution: दस साल में दिल्ली का प्रदूषण 39 प्रतिशत बढ़ा, सिर्फ पराली ही नहीं और भी कारण है जिम्मेदार
Delhi Pollution: दिल्ली-एनसीआर की दम घोट रही जहरीली हवा में सांस लेना मुहाल हो रहा है. एक दशक में दिल्ली के प्रदूषण में 39 फीसदी की बढ़ोतरी हुई.
Delhi Air Pollution: राजधानी दिल्ली की हवा में सांस लेना दुभर हो गया है. प्रदूषण से बचने के लिए लोगों को मास्क लगाना पड़ रहा है. सरकार तमाम कोशिशें करने के बावजूद भी इस समस्या का हल नहीं निकाल पाई है. दिल्ली में प्रदूषण बढ़ते ही भले ही पराली का रोना रोया जाता है, लेकिन ये भी सच है कि बढ़ते प्रदूषण की एक बड़ी वजह परिवहन क्षेत्र में वाहनों की बड़ी हिस्सेदारी है. हर साल वाहनों की संख्या तेजी से बढ़ रही है. जिससे धुएं का उत्सर्जन भी लगातार हो रहा है. इस वजह से हालात ये है कि एक दशक में दिल्ली का प्रदूषण 39 फीसदी तक बढ़ा है.
बेग की रिपोर्ट कहती है कि दिल्ली में वाहनों के उत्सर्जन में कोई गिरावट नहीं दर्ज नहीं हुई है. लेकिन वार्षिक औसम में थोड़ा सुधार जरूर हुआ है. इसका कारण ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) के दौरान होने वाले अल्पकालिक और अस्थायी उपाय हो सकते हैं. लेकिन, स्थायी समाधान के लिए, दीर्घकालिक कदम उठाकर ही प्रदूषण को कम किया जा सकता हैं. इसके लिए इलेक्ट्रिक वाहनों के इस्तेमाल को बढ़ावा देना शामिल किया जा सकता है.
दस साल में 39 फीसदी बढ़ा दिल्ली का प्रदूषण
बेग के अध्ययन में सामने आया है कि दस साल में औद्योगिक क्षेत्र में 36 प्रतिशत की वृद्धि की तुलना में परिवहन क्षेत्र से उत्सर्जन भार में 39 फीसदी की बढ़ोतरी हुई हैं. जबकि हवा से उड़ने वाली सड़क की धूल के उत्सर्जन में 23 प्रतिशत की गिरावट आई है. बीते दस सालों में दिल्ली की सड़कों पर और आसपास के राज्यों में बड़ी संख्या में वाहनों की वृद्धि हुई है. इस वजह से भारी यातायात जमा हो गया है. जिससे धुएं का बड़ा उत्सर्जन हो रहा है.