गुलमर्ग आतंकी हमले में 2 जवान शहीद, 2 पोर्टर की भी गई जान! महबूबा मुफ्ती ने की कड़ी निंदा

गुलमर्ग में आतंकियों ने सेना की गाड़ी पर हमला कर दिया, जिससे दो जवान शहीद हो गए और दो पोर्टर की भी जान चली गई. तीन जवान घायल हैं और उनका इलाज चल रहा है. इस हमले के बाद सुरक्षाबलों ने सर्च ऑपरेशन शुरू किया है. जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री और पूर्व मुख्यमंत्री ने इस घटना की कड़ी निंदा की है. घाटी में हाल ही में प्रवासी मजदूरों पर भी हमले बढ़ रहे हैं. पूरी खबर जानने के लिए पढ़ें!

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Gulmarg Terrorist Attack: कश्मीर घाटी में एक बार फिर आतंकवादियों ने अपना खौफनाक चेहरा दिखाया है. गुलमर्ग के पास सेना के वाहन पर हुए आतंकी हमले में दो जवान शहीद हो गए हैं, वहीं दो पोर्टर की भी जान चली गई. इस हमले में तीन जवान घायल हो गए हैं जिन्हें इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है. यह घटना बूटापाथरी गुलमर्ग की नागिन पोस्ट के नजदीक घुसपैठ की कोशिश के दौरान हुई.

हमले का विवरण

गुरुवार को हुए इस हमले में आतंकियों ने सेना के वाहन को निशाना बनाया. बारामूला पुलिस ने बताया कि नागिन पोस्ट के आस-पास बूटापाथरी सेक्टर में सुरक्षाबलों और आतंकवादियों के बीच फायरिंग हुई. सुरक्षाबलों ने तुरंत सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया है ताकि आतंकियों को पकड़ने में कोई कमी न रह जाए. यह स्थिति तब बनी जब आतंकियों ने सुरक्षा चौकी पर घुसपैठ की कोशिश की जिसे सुरक्षाबलों ने नाकाम कर दिया. 

नेताओं की प्रतिक्रियाएं

इस दुखद घटना पर जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने गहरी संवेदना व्यक्त की है. उन्होंने इसे बेहद दुर्भाग्यपूर्ण बताया और कहा कि कश्मीर में हाल के हमले चिंता का विषय हैं. उमर अब्दुल्ला ने मारे गए लोगों के परिजनों के प्रति अपनी संवेदना प्रकट की और घायलों के जल्द स्वस्थ होने की प्रार्थना की. 

पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने भी इस हमले की निंदा की है. उन्होंने कहा कि बारामूला में सेना के काफिले पर हुए इस हमले से वह स्तब्ध हैं और घायल सैनिकों के शीघ्र स्वस्थ होने के लिए प्रार्थना की है. 

प्रवासी मजदूरों पर हमले

यह घटना कश्मीर घाटी में प्रवासी मजदूरों पर हाल ही में हुए हमलों की कड़ी में एक और है. गुरुवार सुबह त्राल में आतंकियों ने एक गैर-स्थानीय मजदूर को गोली मारी थी, जिसमें उसे हाथ में चोट लगी थी. पिछले एक हफ्ते में यह तीसरा हमला है. इससे पहले, गांदरबल में एक निर्माण स्थल पर छह प्रवासी मजदूरों और एक स्थानीय डॉक्टर की हत्या की गई थी, जबकि शोपियां में बिहार के एक मजदूर की भी हत्या की गई थी. 

सुरक्षा स्थिति

सुरक्षा बल इस हमले के बाद पूरी तरह अलर्ट हैं. जम्मू-कश्मीर की स्थिति में लगातार उतार-चढ़ाव आ रहा है, जिससे क्षेत्र में आतंकवाद का खतरा बढ़ता जा रहा है. प्रशासन और सुरक्षा बल मिलकर इस समस्या का सामना करने के लिए प्रयासरत हैं. 

गुलमर्ग का यह हमला एक बार फिर याद दिलाता है कि कश्मीर में शांति और सुरक्षा की आवश्यकता कितनी महत्वपूर्ण है. सभी नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सरकार और सुरक्षाबलों को कड़ी मेहनत करनी होगी. इस हमले ने यह स्पष्ट कर दिया है कि आतंकवादियों के इरादे कितने घातक हो सकते हैं और उन्हें हर हाल में नियंत्रित करना जरूरी है.  First Updated : Thursday, 24 October 2024