सीजफायर तोड़ने की कीमत चुकाएगा पाकिस्तान? भारत सरकार कर सकती है समझौता रद्द
भारत सरकार पहलगाम आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान के साथ 2021 के संघर्षविराम समझौते को रद्द करने पर गंभीरता से विचार कर रही है. बढ़ती घुसपैठ और सीमा पर गोलीबारी को देखते हुए यह फैसला पाकिस्तान को कूटनीतिक रूप से अलग-थलग करने की दिशा में उठाया जा सकता है.

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत सरकार पाकिस्तान के साथ फरवरी 2021 में हुए संघर्षविराम (Ceasefire) समझौते को रद्द करने की तैयारी में है. सूत्रों के मुताबिक, इस संबंध में जल्द ही आधिकारिक घोषणा हो सकती है. यह फैसला पाकिस्तान की ओर से लगातार संघर्षविराम उल्लंघन और सीमा पर आतंकी गतिविधियों के बढ़ते मामलों को देखते हुए लिया जा सकता है.
जानकारी के अनुसार, पाकिस्तान आधारित आतंकी संगठनों जैसे लश्कर-ए-तैयबा, जैश-ए-मोहम्मद और द रेसिस्टेंस फ्रंट की घुसपैठ जारी है. इन संगठनों की सक्रियता और नियंत्रण रेखा (LoC) व अंतरराष्ट्रीय सीमा पर गोलीबारी की घटनाएं भारत की सुरक्षा के लिए गंभीर खतरा बन चुकी हैं.
पाकिस्तान की वादाखिलाफी से नाराज भारत
भारत सरकार का मानना है कि पाकिस्तान ने सीजफायर समझौते में किए गए वादों को निभाने में विफलता दिखाई है. 2023 और 2024 के बीच पाकिस्तान द्वारा स्नाइपर अटैक और गोलाबारी की घटनाओं में इज़ाफा दर्ज किया गया है. इससे साफ है कि पाकिस्तान का इरादा शांति बनाए रखने का नहीं बल्कि सीमा पर अशांति फैलाने का है.
सीमा पर गोलीबारी जारी
हालांकि फरवरी 2021 में भारत और पाकिस्तान के बीच संघर्षविराम समझौता हुआ था, लेकिन इसके बावजूद पाक समर्थित आतंकी संगठनों ने जम्मू-कश्मीर में घुसपैठ बंद नहीं की. लश्कर-ए-तैयबा, जैश-ए-मोहम्मद और द रेसिस्टेंस फ्रंट जैसे संगठनों की गतिविधियां लगातार सामने आती रही हैं. पाकिस्तान द्वारा सीमा पर फायरिंग और स्नाइपर अटैक जैसी घटनाएं समझौते की खुली अवहेलना हैं.
केंद्र सरकार की विपक्ष के साथ अहम बैठक
पहलगाम आतंकी हमले के बाद केंद्र सरकार ने दिल्ली में सर्वदलीय बैठक बुलाई, जिसमें सभी दलों ने एकजुटता दिखाई. इस बैठक के बाद केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने मीडिया से बातचीत में कहा,
"पहलगाम में जो घटना हुई, उसके बारे में रक्षा मंत्री ने सीसीएस मीटिंग में जानकारी दी और सरकार द्वारा उठाए गए कदमों से अवगत कराया. यह घटना बेहद दुखद है और पूरे देश को चिंता में डालने वाली है. इसी को ध्यान में रखते हुए सरकार ने आज और कठोर कदम उठाने की मंशा जताई है."
विपक्ष ने भी जताई एकता
बैठक में शामिल हुए कांग्रेस सांसद और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने कहा कि हर किसी ने एकमत से इस घटना की निंदा की है और विपक्ष ने सरकार को किसी भी कार्रवाई के लिए पूरा समर्थन देने का आश्वासन दिया है.
पाकिस्तान की कूटनीतिक
अगर भारत सरकार सीजफायर समझौता रद्द करती है, तो यह पाकिस्तान के लिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक और बड़ा झटका हो सकता है. यह कदम न सिर्फ भारत की सख्त नीति को दर्शाएगा, बल्कि दुनिया को यह संदेश देगा कि भारत अपनी सुरक्षा से कोई समझौता नहीं करेगा.


