Mahakumbh 2025: अमेरिका, पाकिस्तान और ब्रिटेन...अतर्राष्ट्रीय मीडिया में हो रही महाकुंभ की तारीफ, जानें किसने क्या कहा

Mahakumbh 2025: प्रयागराज में महाकुंभ 2025 की शुरुआत हो चुकी है. अब तक करोडों श्रद्धालु संगम में डुबकी लगा चुके हैं. करीब 45 दिन तक चलने वाले महाकुंभ मेले में 40 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं के आने की संभावना है. इसकी अंतरराष्ट्रीय मीडिया में भी सुर्खियां बटोरी हैं और भव्य आयोजन की जमकर तारीफ हो रही है.

Yaspal Singh
Edited By: Yaspal Singh

Mahakumbh 2025: आस्था के महापर्व महाकुंभ में शामिल होने दुनियाभर से लोग आ रहे हैं और गंगा, जमुना, सरस्वती के पावन संगम पर डुबकी लगाकर खुद को धन्य मान रहे हैं. 13 जनवरी को पौष पूर्णिमा के दिन शुरू हुआ महाकुंभ मेला महाशिवरात्रि तक चलेगा जो 26 फरवरी को है. करीब डेढ़ महीने तक चलने वाले महाकुंभ की शुरुआत के साथ ही दुनियाभर की मीडिया में इसकी भरपूर कवरेज देखने को मिल रही है. चाहे वो पाकिस्तान का मीडिया हो, अमेरिका, रूस या फिर संयुक्त अरब अमीरात, कतर का मीडिया... हर जगह महाकुंभ की भव्य तस्वीरों के साथ खबरें प्रकाशित की जा रही हैं.

गार्जियन ने इसे 'त्योहारों का त्यौहार' कहा है

महाकुंभ मेले के बारे में अपनी रिपोर्ट में द गार्जियन ने इसे "त्योहारों का त्यौहार" बताया है, क्योंकि इसमें कहा गया है, "इसमें साधुओं या पवित्र लोगों, तपस्वियों, तीर्थयात्रियों और पर्यटकों का एक जीवंत मिलन शामिल होता है." गार्जियन ने आगे बताया, "इस साल के उत्सवों का पैमाना और भव्यता पिछले सभी आयोजनों से बढ़कर होने की उम्मीद है, जो कुंभ मेले के धार्मिक और राजनीतिक महत्व को दर्शाता है." 

सीएनएन ने महाकुंभ के भव्य पैमाने का वर्णन किया है

अमेरिकी अखबार सीएनएन ने एक लेख प्रकाशित किया है जिसमें लिखा है कि अगले छह हफ्तों में तकरीबन 40 करोड़ लोग महाकुंभ मेले में पहुंचने वाले हैं. अखबार ने लिखा, 'महाकुंभ में बड़ी संख्या में हिंदू संतों की भीड़ पहुंचती है, जिन्हें साधु के रूप में जाना जाता है. साधु ऐसे तपस्वी होते हैं जिन्होंने सांसारिक वस्तुओं और जीवन का त्याग कर दिया है और वे अपने घुंघराले बालों, राख से ढके शरीर के साथ-साथ बेहद कम कपड़े पहनने के लिए जाने जाते हैं. मंगलवार की सुबह महाकुंभ की शुरुआत में बहुत से नागा साधुओं ने पवित्र स्नान किया.'

महाकुंभ मेले पर अपनी रिपोर्ट में सीएनएन ने उत्सव के आयोजन के पैमाने का वर्णन करते हुए कहा है, "लगभग 160,000 टेंट, 150,000 शौचालय और 776 मील (1,249 किलोमीटर) लंबी पेयजल पाइपलाइन 4,000 हेक्टेयर में फैले एक अस्थायी टेंट शहर में स्थापित की गई है, जो लगभग 7,500 फुटबॉल मैदानों के आकार का है." रिपोर्ट में आगे विस्तार से बताया गया है कि केंद्र सरकार ने कहा है, "शहर के चारों ओर कृत्रिम बुद्धिमत्ता से संचालित 2,700 से अधिक सुरक्षा कैमरे लगाए जाएंगे, जिनकी निगरानी प्रमुख स्थानों पर सैकड़ों विशेषज्ञ करेंगे." 

बीबीसी ने महाकुंभ के पीछे की पौराणिक कहानी का जिक्र किया है

बीबीसी ने उस पौराणिक कथा का उल्लेख किया है जिसे महाकुंभ मेले का स्रोत माना जाता है. बीबीसी की रिपोर्ट कहती है, "इसकी उत्पत्ति एक पौराणिक कथा से जुड़ी है, जिसमें देवताओं और राक्षसों के बीच समुद्र मंथन के दौरान निकले अमृत के कुंभ को लेकर लड़ाई हुई थी." इसमें कहा गया है, "जब दोनों पक्षों के बीच अमृत के पात्र को लेकर लड़ाई हुई, जिससे उन्हें अमरता का वादा किया गया था, तो कुछ बूंदें छलक कर चार शहरों - प्रयागराज, हरिद्वार, उज्जैन और नासिक में गिर गईं. चूंकि यह लड़ाई 12 दिव्य वर्षों तक चली - जिनमें से प्रत्येक पृथ्वी के 12 वर्षों के बराबर है - इसलिए चारों शहरों में हर 12 साल में कुंभ मेला उत्सव आयोजित किया जाता है. दो त्योहारों के बीच में अर्ध कुंभ का आयोजन किया जाता है." 

न्यूयॉर्क टाइम्स ने महाकुंभ को 'अद्भुत' बताया

न्यूयॉर्क टाइम्स ने भी महाकुंभ मेले के भव्य पैमाने को रेखांकित करते हुए बताया कि महाकुंभ मेले का पैमाना आश्चर्यजनक है. इसमें आगे कहा गया है, "इस साल, लगभग 6 मिलियन निवासियों का घर, शहर 300 से 400 मिलियन लोगों की मेज़बानी करने की तैयारी कर रहा है." .

क्या बोला पाकिस्तान का मीडिया

पाकिस्तान के अंग्रेजी अखबार 'द एक्सप्रेस ट्रिब्यून' ने अपने लेख में महाकुंभ से साधुओं की एक तस्वीर लगाई है जिसमें भगवा वस्त्र पहने, गले में माला लटकाए साधुओं के ऊपर पुष्पवर्षा हो रही है. पाकिस्तानी अखबार ने लिखा, 'दुनिया का सबसे बड़ा धार्मिक जमघट, महाकुंभ मेला भारत में शुरू हो चुका है जिसमें करोड़ों की संख्या में भक्त उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में गंगा के तट पर डुबकी लगाएंगे. हर 12 साल में लगने वाला कुंभ इस साल बेहद खास है क्योंकि यह महाकुंभ मेला है और ऐसा योग 144 सालों बाद ही आता है. महाकुंभ मेले में करोड़ों लोग आएंगे और माना जा रहा है कि यह इतिहास का सबसे बड़ा जमावड़ा होने वाला है.' रिपोर्ट में लिखा गया कि इस साल का आयोजन खास तौर पर भव्य है, जिसमें एक राजनीतिक पहलू भी है.

संयुक्त अरब अमीरात (UAE) का मीडिया

यूएई के अखबार खलीज टाइम्स ने महाकुंभ पर प्रकाशित अपनी खबर को शीर्षक दिया है- कुंभ मेले में उमड़ा जनसैलाब, देशभर से आए हिंदू श्रद्धालु. समाचार एजेंसी एएफपी के हवाले से प्रकाशित रिपोर्ट में लिखा गया, 'छह हफ्ते तक चलने वाले कुंभ मेले में संगम तट पर स्नान करने के लिए करोडों की संख्या में श्रद्धालु प्रयागराज पहुंच रहे हैं जिनमें बुजुर्गों से लेकर छोटे बच्चे, गुफाओं में रहने वाले साधुओं से लेकर विज्ञान के शिक्षक... सभी शमिल हैं.

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16 January 2025, 01:17 PM IST

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