20 summit 2023: नई दिल्ली के प्रगति मैदान में 9 और 10 सितंबर को जी-20 शिखर सम्मेलन आयोजित होने वाला है. भारत पहली बार इसकी मेजबानी करेगा. जी20 के लिए डिनर आमंत्रण पत्र पर इंडिया की जगह भारत लिखे जाने को लेकर देश में विवाद छिड़ गया. हालांकि, इंडिया का नाम भारत करने को लेकर सुप्रीम कोर्ट में कई याचिका दायर की जा चुकी है. जिसमें से 2016 में एक याचिका को सुप्रीम कोर्ट ने खारिज करते हुए कहा था कि अगर कोई इंडिया कहना चाहता है तो कहने दीजिए. भारत कहना चाहता है तो कहने दीजिए.
2015 में नाम बदलने वाली एक जनहित याचिका के जवाब में मोदी सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में कहा था कि देश का नाम इंडिया के बजाय भारत नहीं किया जाना चाहिए. उस दौरान केंद्र सरकार कहा था, ''अनुच्छेद 1 में किसी भी बदलाव पर विचार करने करने के लिए परिस्थितियों में कोई बदलाव नहीं हुआ है. भारत का संविधान अनुच्छेद 1 (1) आधिकारिक और अनौपचारिक उद्देश्यों के लिए देश का नाम कैसे रखा जाए, इस पर संविधान का प्रावधान कहता है, इंडिया, जो कि भारत है, राज्यों का एक संघ होगा.''
दरअसल, 2016 में सुप्रीम कोर्ट में 'इंडिया' को 'भारत' कहे जाने का निर्देश देने का अनुरोध करने के लिए एक जनहित दायर की गई थी. इस अर्जी को खारिज करते हुए देश की सर्वोच्च अदालत ने कहा था, 'लोग देश को अपनी इच्छा अनुसार India या भारत कहने के लिए स्वतंत्र है. अगर कोई इंडिया कहना चाहता है तो कहने दीजिए.' आज देश में 'इंडिया और भारत' शब्द पर छिड़े विवाद के बीच सुप्रीम कोर्ट की ये टिप्प्णी इस विषय के संबंध में अनुकूल है.
तत्कालीन चीफ जस्टिस टीएस ठाकुर और न्यायमूर्ति यूयू ललित की पीठ ने महाराष्ट्र के निरंजन भटवाल की ओर से दाखिल याचिका पर कहा था, 'भारत या इंडिया? आप इसे भारत कहना चाहते हैं, कहिये. कोई इसे इंडिया कहना चाहता है, उन्हें इंडिया कहने दीजिए.'' First Updated : Wednesday, 06 September 2023