Delhi Air Pollution: दिल्ली में प्रदूषण का स्तर बढ़ा, AQI 400 के पार, ग्रैप-4 लागू
राजधानी दिल्ली की हवा एक बार फिर से जहरीली हो चुकी है. दिल्ली में AQI 400 के पार पहुंच गया है. इसी को देखते हुए CAQM (वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग) ने एक बार फिर से दिल्ली-NCR में ग्रैप-4 लागू कर दिया है. ग्रैप-4 लागू होने के बाद दिल्ली में कई तरह की पाबंदियां लग जाएंगी.
Delhi Air Pollution: दिल्ली में प्रदूषण के बढ़ते स्तर को देखते हुए एक बार फिर ग्रैप-4 (ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान) लागू कर दिया गया है. सोमवार रात 9 बजे दिल्ली का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 399 पर पहुंच गया था और रात 10 बजे यह 400 के पार चला गया. AQI में इतनी बड़ी बढ़ोतरी को देखते हुए वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CAQM) ने एक इमरजेंसी बैठक बुलाकर पूरे दिल्ली-एनसीआर में ग्रैप-4 लागू करने का फैसला लिया.
प्रदूषण और मौसम की स्थिति
सोमवार को दिल्ली का न्यूनतम तापमान 4.5 डिग्री सेल्सियस था, जो सामान्य से 4.1 डिग्री कम है. यह दिसंबर महीने में चौथी बार हुआ है जब तापमान 5 डिग्री सेल्सियस से नीचे गया है. अधिकतम तापमान 24.5 डिग्री सेल्सियस था, जो सामान्य से 1 डिग्री ज्यादा था. मौसम विभाग ने शीतलहर का अनुमान भी जताया है.
AQI में भारी बढ़ोतरी
सोमवार को दिल्ली का 24 घंटे का औसत AQI शाम 4 बजे 379 था, जो रविवार के 294 से ज्यादा था. समीर ऐप के अनुसार, दिल्ली के 37 निगरानी स्टेशनों में से 18 ने AQI को 'गंभीर' श्रेणी में, 16 ने 'बहुत खराब' श्रेणी में और बाकी स्टेशनों ने 'खराब' श्रेणी में दर्ज किया. सोमवार रात 9 बजे AQI 399 और रात 10 बजे 400 के पार पहुंच गया.
ग्रैप-4 में क्या पाबंदियां होती हैं?
जब AQI 400 के पार पहुंच जाता है, तो ग्रैप-4 लागू किया जाता है. इस चरण में सबसे कड़ी पाबंदियां लगाई जाती हैं. इस दौरान:
भारी वाहनों जैसे ट्रक, लोडर को दिल्ली में प्रवेश करने की इजाजत नहीं होती है, सिवाय जरूरी सामान ले जाने वाले वाहनों के.
सभी प्रकार के निर्माण कार्य और तोड़फोड़ पर प्रतिबंध लगा दिया जाता है.
सरकार स्कूलों के लिए ऑनलाइन कक्षाएं शुरू करने और सरकारी व निजी ऑफिसों के लिए घर से काम करने का फैसला ले सकती है.
ऑड-ईवन योजना भी लागू की जा सकती है, लेकिन यह जरूरी नहीं है.
हाइब्रिड मोड में कक्षाएं
दिल्ली, गुरुग्राम, फरीदाबाद, गाजियाबाद और गौतम बुद्ध नगर के 5वीं कक्षा तक के छात्रों के लिए कक्षाएं अब हाइब्रिड मोड (ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों) में चलेंगी. नोएडा के डीएम ने भी इसी तरह का आदेश जारी किया है. इस तरह से दिल्ली में प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए कई कड़े कदम उठाए गए हैं, ताकि लोगों को सांस लेने में राहत मिल सके और प्रदूषण का असर कम हो सके.