Jammu kasmir Terrorist Attack: जम्मू कश्मीर के डोडा जिले में आतंकवादियों ने एक बार फिर हिंसा का रुख अपनाया है. एक स्कूल के परिसर में बनाए गए आर्मी कैंप पर आतंकवादियों ने गोलीबारी की, जिसमें 2 जवान घायल हो गए हैं. मुठभेड़ अभी भी जारी है.
इसी डोडा में 15 जुलाई को आतंकी हमले में 5 जवान शहीद हुए थे. जम्मू रीजन में पिछले 84 दिन में 10 आतंकी हमलों में 12 जवान शहीद हुए हैं. ये घटना एक बार फिर आतंकवाद के खतरे और सुरक्षा बलों पर लगातार हमलों की बढ़ती घटनाओं की ओर इशारा करती है.
15 जुलाई को डोडा में आतंकियों से मुठभेड़ में सेना के एक कैप्टन और पुलिसकर्मी समेत 5 जवान शहीद हो गए थे. 16 जुलाई को डोडा के डेसा फोरेस्ट बेल्ट के कलां भाटा में रात 10:45 बजे और पंचान भाटा इलाके में रात 2 बजे फिर फायरिंग हुई थी. इन्हीं घटनाओं के बाद सर्च ऑपरेशन चलाने के लिए सेना ने जद्दन बाटा गांव के सरकारी स्कूल में अस्थायी सुरक्षा शिविर बनाया था.
पिछले 84 दिन में जम्मू रीजन में 10 आतंकी हमले हुए जिसमें 12 जवानों की शहादत के बाद सेना ने इस बार बड़ा सर्च ऑपरेशन शुरू किया है. सैन्य सूत्रों के मुताबिक, ऑपरेशन में सेना और जम्मू-कश्मीर पुलिस के 7000 जवान, 8 ड्रोन, हेलिकॉप्टर्स, करीब 40 खोजी कुत्तों को लगाया है. जवानों में ज्यादातर राष्ट्रीय राइफल्स और पुलिस के स्पेशल कमांडोज हैं. इन्हें डोडा और कठुआ जिलों की पीर पंजाल श्रेणी के जंगलों में उतारा गया है.
पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार डोडा और कठुआ 5 महीने से आतंकवाद के एपिसेंटर बने हुए हैं. कठुआ के बदनोटा से डोडा के धारी गोटे और बग्गी तक करीब 250 किमी में आतंकियों के छिपे होने के सबूत मिले हैं.यहां 20 वर्ग किमी का एक बड़ा इलाका है, जहां से आतंकी आसानी से पहाड़ चढ़कर घात लगाकर हमला कर रहे हैं, इसलिए इन्हीं पहाड़ों पर जवानों को खाने-पीने के सामान व गोला बारूद के साथ तैनात किया है.
First Updated : Thursday, 18 July 2024