वित्त मंत्री ने तो कह दिया पर कैसे बचेंगे 17500? समझें पूरा गणित
Union Budget 2024: मंगलवार को देश का आम बजट पेश हुआ. इस दौरान वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने नए टैक्स स्लैब का ऐलान किया. इसमें थोड़े बदलाव किए गए हैं. उन्होंने अपने बजट स्पीच में कहा कि इससे 17500 रुपये तक की बजट होगी. इसके बाद से ही सभी लोग कैल्कूलेशन लगाने में लगे हैं. आइये आसान तरीके से समझते हैं. नए स्लैब में ये पैसे कैसे बचाए जा सकते हैं?
Union Budget 2024: मोदी सरकार के तीसरी पारी का पहला बजट वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को पेश किया. ये उनका 7वां बजट था. इसमें समाज के हर पहलू को छूने की कोशिश की गई है. हालांकि, कुछ हिस्सों की चर्चा अब देश में सबसे ज्यादा हो रही है. इसमें एक है नए टैक्स स्लैब और स्टैंडर्ड डिडक्शन में बढ़ोतरी. टैक्स को लेकर हुए ऐलान के बाद कहा जा रहा है कि इसमें कर्मचारी 17500 रुपये तक की बचत कर पाएंगे. आइये समझते हैं इसके पीछे गणित क्या है और ये कैसे होगा?
बजट में टैक्सपेयर्स को राहत दी गई है. इसमें नए स्लैब के ऐलान के साथ ही स्टैंडर्ड डिडक्शन को 50,000 रुपये से बढ़ाकर 75000 रुपये किया गया है. स्टैंडर्ड डिडक्शन बढ़ाए जाने की मांग लंबे समय से हो रही थी. समझते हैं नए टैक्स रिजीम में टैक्स स्लैब में हुए बदलाव से आप कैसे बचत कर सकते हैं.
स्टैंडर्ड डिडक्शन में छूट
वित्तमंत्री ने नए रीजीम के लिए स्टैंडर्ड डिडक्शन 50 हजार से बढ़ाकर 75,000 रुपये कर दिया है. यानी नए टैक्स रीजीम को चुनने वाले इस डिडक्शन का लाभ ले सकते हैं. इससे 7.75 लाख रुपये तक की इनकम टैक्स फ्री हो जाएगी.
नया और पुराना स्लैब | ||
टैक्स % | 2023-24 | 2024-25 |
0 | 0 से 3 लाख | 0 से 3 लाख |
5 | 3 से 6 लाख | 3 से 7 लाख |
10 | 6 से 9 लाख | 7 से 10 लाख |
15 | 9 से 12 लाख | 10 से 12 लाख |
20 | 12 से 15 लाख | 12 से 15 लाख |
30 | 15 लाख से ज्यादा | 15 लाख से ज्यादा |
कैसे होगी बचत ?
नए पुराने में टैक्स राशि | ||
टैक्स % | 2023-24 | 2024-25 |
0 | 0 | 0 |
5 | 15000 | 20000 |
10 | 30000 | 30000 |
15 | 45000 | 30000 |
20 | 60000 | 60000 |
30 | 150000 | 140000 |
अब समझिए कैसे होगी बचत?
स्लैब में बदलाव से पहले 15 लाख की कमाई पर कुल अलग-अलग टेबल के जोड़ को मिलाकर 150000 रुपये टैक्स बनता था. अब बदलाव किए जाने के बाद ये अलग-अलग टेबल के कैल्कूलेशन में 140000 रुपये बनता है. यानी यहां सीधे तौर पर 10 हजार रुपये की बचत हो रही है. वहीं डिडक्शन 75 हजार रुपये हो गया है. यानी इसमें 25 हजार की बढ़ोतरी हुई है. इसका 30 फीसदी 7500 रुपये होता है. यानी 10 हजार सीधे टैक्स में और 7500 स्टैंडर्ड डिडक्शन में बनेंगे. कुल मिलाकर 17500 की बचत हो जाएगी.