रिपोर्टर- विनय जोशी
नोएडा/ग्रेटर नोएडा। गौतमबुद्ध नगर में बीते 24 घंटे में कोरोना वायरस के 66 नए मरीजों की पुष्टि हुई है। हालांकि, इस दौरान 18 लोग कोरोना वायरस से ठीक होकर अपने घर जा चुके हैं। नए मामलों के साथ गौतमबुद्ध नगर में कोरोना वायरस से सक्रिय मरीजों की संख्या बढ़कर 185 तक पहुंच गयी है। गौतमबुद्ध नगर में कोरोना वायरस से संक्रमित मरीजों की संख्या में काफी तेजी नजर आ रही है। पिछले एक हफ्ते के भीतर कोरोना वायरस से संक्रमित 100 से ज्यादा मामलों की पुष्टि हो चुकी है। हालांकि, गौतमबुद्ध नगर में राहत की बात यह है कि अब तक कोरोना वायरस के संक्रमण से किसी भी व्यक्ति की मौत नहीं हुई है।
गौतमबुद्ध नगर में कोरोना वायरस का संक्रमण लगातार तेजी के साथ बढ़ने से स्वास्थ्य विभाग में पूरी तरह से खलबली मची हुई है। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर सुनील कुमार शर्मा की तरफ से लोगों से मास्क पहनने, भीड़-भाड़ वाले स्थानों पर जाने से बचने और कोरोना वायरस को लेकर पूरी सावधानी बरतने की अपील लगातार की जा रही है। कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों को ध्यान में रखते हुए शासन की ओर से गौतमबुद्ध नगर में सतर्क रहन के निर्देश जारी कर दिए गए हैं। कोरोना वायरस का म्यूटेशन जानने के लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा नमूने जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए दिल्ली भेजे जा रहे हैं। इस संबंध में स्वास्थ्य विभाग की ओर से गौतमबुद्ध नगर के सभी निजी और सरकारी अस्पतालों को दिशा-निर्देश जारी किया जा चुका है।
प्रदेश में सबसे ज्यादा गौतमबुद्ध नगर में आ रहे मामले-
उत्तर प्रदेश में मौजूदा समय में सबसे ज्यादा कोरोना वायरस के मामले केवल गौतमबुद्ध नगर से आ रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग इसके पीछे का मुख्य कारण यह मान रहा है कि गौतमबुद्ध नगर दिल्ली के काफी नजदीक होने के चलते कई लोग दूसरे राज्यों और जिलों से आते हैं। गौतमबुद्ध नगर में कोरोना वायरस के लगातार बढ़ रहे मामलों को ध्यान में रखते हुए स्वास्थ्य विभाग विशेष सतर्कता बरत रहा है।
गौतमबुद्ध नगर में स्वास्थ्य विभाग ने बढ़ाया जांच का दायरा-
गौतमबुद्ध नगर में स्वास्थ्य विभाग ने कोरोना वायरस की जांच का दायरा बढ़ा दिया है। स्वास्थ्य विभाग कोरोना वायरस की पिछली लहरों को ध्यान में रखते हुए विशेष तौर पर सावधानी बरत रहा है। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर सुनील कुमार शर्मा ने बताया कि वायरस खुद को लंबे समय तक प्रभावी बनाए रखने के लिए लगातार अपनी संरचना में बदलाव करता रहता है। वायरस रूप बदल-बदलकर खुद को ज्यादा मजबूत बनाते हैं। वायरस में बदलाव होने पर कई बार मौजूदा दवाएं या वैक्सीन काम नहीं करती है। ऐसी स्थिति में म्यूटेशन की जानकारी लगाने के लिए जीनोम सीक्वेंसिंग काम आती है। First Updated : Tuesday, 04 April 2023