आज ज्ञानवापी के दो मामलों की होगी सुनवाई, हिंदू देवी-देवताओं की मूर्तियां होने के मिले थे साक्ष्य
Gyanvapi Case: ज्ञानवापी में कराए गए भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) सर्वे की रिपोर्ट आने के बाद मामले की सुनवाई मंगलवार को जिला जज की अदालत में होगी.
हाइलाइट
- मस्जिद पक्ष ने अपना पक्ष रखने के लिए मांगा वक्त
- सर्वे में मिले हिंदू देवी-देवताओं की मूर्तियां होने के साक्ष्य
Gyanvapi Case: ज्ञानवापी स्थित मां श्रृंगार के नियमित दर्शन-पूजन की मांग के मामले में ज्ञानवापी में कराए गए भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) सर्वे की रिपोर्ट आने के बाद मामले की सुनवाई मंगलवार को जिला जज की अदालत में होगी. पूर्व में दिए गए आवेदनों पर सुनवाई की जाएगी. इसमें सर्वे रिपोर्ट पर भी आपत्तियां दर्ज कराई जाएंगी.
मस्जिद पक्ष ने मांगा समय
ज्ञानवापी में एडवोकेट कमिश्नर की कार्रवाई के दौरान मिले शिवलिंग को आदि विश्वेश्वर घोषित कर पूजा-अर्चना, राग-भोग व अन्य धार्मिक गतिविधियों की अनुमति देने की मांग को लेकर दायर शैलेन्द्र योगिराज की याचिका पर सिविल जज (सीनियर डिवीजन प्रथम) प्रशांत सिंह की कोर्ट में सुनवाई होगी. वहीं, मस्जिद पक्ष ने अपना पक्ष रखने के लिए वक्त मांगा है.
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सर्वे में क्या मिला?
सर्वेक्षण के दौरान 2.5 सेमी लंबा, 3.5 सेमी चौड़ा बलुआ पत्थर का संगमरमर का शिवलिंग बिल्कुल सही स्थिति में पाया गया. इसी तरह 8.5 सेमी लंबा, 5.5 सेमी ऊंचा और 4 सेमी चौड़ा पत्थर का नंदी भी ठीक हालत में है. इस बात का जिक्र ASI ने अपनी सर्वे रिपोर्ट में भी किया है. इसी प्रकार एक बीम पर नागरी लिपि में लिखी काशी को दर्शाया गया है. रिपोर्ट में इसकी तस्वीर भी जारी की गई है.
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संस्कृत में लिखे प्रचीन शब्द
रिपोर्ट में अवशेष पर संस्कृत में लिखे शब्द श्रीमच्छ, प भृगुवस, वद्विजतिश्च, आय अर्जनी, जातिभि: धर्मज्ञ: लिखे हैं. एएसआई ने इसे 16वीं सदी का अवशेष बताया है. एक दीवार पर संस्कृत में रुद्राद्या और श्रवण का भी जिक्र है. संस्कृत में लिखे ये सभी शब्द ज्ञानवापी परिसर के प्राचीन इतिहास को दर्शाते हैं.