Meerut Building Collapse: मेरठ में कई दिनों से लगातार पड़ रही बारिश के दौरान शनिवार को लोहिया नगर क्षेत्र में बड़ा हादसा हो गया. लगभग 50 साल पुराना तीन मंजिला मकान भरभरा कर गिर गया. एक ही परिवार के 14 लोग और दर्जनों मवेशी मलबे के नीचे दब गए. हादसे के बाद एडीजी से लेकर जिले के तमाम आला अधिकारी मौके पर पहुंचे.
महिलाओं और बच्चों समेत आठ लोगों को रात तक निकाल लिया गया, जिनमें साजिद (40) और उसकी पुत्री सानिया व रीजा और पुत्र साकिब समेत सात लोगों की मौत हो गई. कई लोगों की हालत गंभीर है. देर रात तक रेस्क्यू ऑपरेशन जारी था.
जाकिर कॉलोनी गली नंबर सात में 90 साल की बुजुर्ग महिला नफो उर्फ नफीस का 300 गज में तीन मंजिला मकान है. बताया जाता है कि ये मकान लगभग 50 साल पुराना है. मकान के ग्राउंड फ्लोर पर नफो के बेटे डेयरी चलाते थे. जबकि, ऊपर की दो मंजिलों पर नफो के बेटे साजिद पत्नी सायमा और नईम पत्नी अलीशा 5 वर्षीय बेटी रिमशा, नदीम पत्नी फरहाना, 2 वर्षीय बेटा हमजा, शाकिर पत्नी साहिबा समेत 15 लोग रहते थे.
मिली हुई जानकारी के मुताबिक शनिवार शाम करीब 4:30 बजे ये मकान अचानक भरभरा कर जमींदोज हो गया. तेज धमाके के साथ इलाके में हड़कंप मच गया. घटना के बाद मौके पर भीड़ लग गई और चारों तरफ चीख-पुकार मच गई. जानकारी के बाद थाना पुलिस से लेकर एडीजी ध्रुवकांत ठाकुर, आईजी नचिकेता झा, कमिश्नर सेल्वा कुमारी जे, डीएम दीपक मीणा और एसएसपी विपिन ताडा सहित कई थानों की फोर्स मौके पर पहुंची.
हादसे के बाद लगातार पड़ रही बारिश रेस्क्यू ऑपरेशन में बाधा बनी रही. एक तरफ जहां संकरी गलियों के कारण घटनास्थल पर रेस्क्यू के लिए जेसीबी सहित तमाम तरह के पर्याप्त संसाधन नहीं पहुंच सके. वहीं दूसरी तरफ तेज बारिश के दौरान मलबा हटाने में भी क्षेत्रवासियों और पुलिस को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा. इस दौरान कई महिलाएं मलबे में दबे परिवार की सलामती के लिए दुआएं करती भी नजर आईं. क्योंकि अभी स्पष्ट नहीं है कि मलबे के नीचे कितने लोग दबे हुए हैं? इसलिए पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी रेस्क्यू ऑपरेशन में बेहद सावधानी भी बरत रहे हैं. First Updated : Sunday, 15 September 2024