Baba Tarsem Singh murder case: उत्तराखंड के मशहूर तरसेम सिंह हत्या कांड के एक शूटर को ढेर कर दिया गया है. नानकमत्ता गुरुद्वारे के 'कारसेवा' प्रमुख बाबा तरसेम सिंह के कत्ल का एक आरोपी अमरजीत सिंह उत्तराखंड स्पेशल टास्क फोर्स (STF) के साथ एनकाउंटर में मारा गया. देर रात उत्तराखंड एसटीएफ और हरिद्वार पुलिस के साथ चली मुठभेड़ में उसकी मौत हो गई है. लेकिन दूसरा आरोपी वहां से भागने में कामयाब हो गया जिसकी तलाशी की जा रही है.
तरसेम सिंह पंजाब और तराई सिखों के सिरमौर माने जाते थे जिनकी हत्या 28 मार्च को उधम सिंह नगर के नानकमत्ता गुरुद्वारे में दो बाइक सवार हमलावरों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी. उनकी हत्या की जिम्मेदारी तरनतारन के गांव मियाविंडी के रहने वाले सरबजीत सिंह ने ली थी.
डीजीपी उत्तराखंड अभिनव कुमार ने बताया कि श्री नानकमत्ता साहिब गुरुद्वारा डेरा कार सेवा के प्रमुख बाबा तरसेम सिंह की गोली मारकर हत्या करने वाले अमरजीत सिंह को उत्तराखंड एसटीएफ और हरिद्वार पुलिस ने थाना भगवानपुर क्षेत्र में मुठभेड़ में मार गिराया है. हत्यारोपी का दूसरा साथी फरार हो गया है और एसटीएफ और पुलिस उसकी तलाश कर रही है. बता दें कि, बाबा की हत्या के बाद से ही उत्तराखंड पुलिस एक्शन मोड में थी.
बता दें कि, नानकमत्ता गुरुद्वारे के 'कारसेवा' प्रमुख बाबा तरसेम सिंह की 28 मार्च को उधम सिंह नगर के नानकमत्ता गुरुद्वारे में दो बाइक सवार हमलावरों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी. हत्या के कुछ दिनों बाद, नानकमत्ता पुलिस स्टेशन में पूर्व आईएएस अधिकारी हरबंस सिंह चुघ और दो अन्य लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई, जिसकी पहचान प्रीतम सिंह और बाबा अनूप सिंह के रूप में की गई. इस हत्याकांड का मुख्य आरोपी अमरजीत सिंह को बनाया गया था.
बाबा तरसेम सिंह सिख समाज का एक बड़ा चेहरा थे. उन्हें सिख समाज के लोग खूब सम्मान देते थे. उन्होंने समाज सेवा के साथ-साथ जनसेवा भी किए हैं जिस वजह से इन इलाकों में उनके चाहने वालों की अच्छी खासी तादाद है. कहा जाता है कि उनकी किसी से भी कोई दुश्मनी नहीं थी लेकिन फिर उनकी हत्या कर दी गई. उत्तराखंड की सीएम धामी भी कई बार नानकमत्ता गुरुद्वारा उनसे मिलने के लिए जा चुके हैं. First Updated : Tuesday, 09 April 2024