डलास में राहुल गांधी की टीम ने पत्रकार को क्यों धमकाया?

7 सितंबर को, डलास में राहुल गांधी की अमेरिका यात्रा के दौरान एक पत्रकार को चौंकाने वाली घटना का सामना करना पड़ा. जब पत्रकार ने राहुल की बैठक में बांग्लादेश में मारे जा रहे हिंदुओं के मुद्दे पर सवाल किया, तो राहुल की टीम ने बवाल मचा दिया. उन्होंने पत्रकार का फोन छीन लिया, रिकॉर्डिंग डिलीट की और उसके साथ जोरदार बर्ताव किया. इस विवाद ने प्रेस स्वतंत्रता के दावों की पोल खोल दी. जानिए पूरी घटना में क्या हुआ और कैसे राहुल की टीम ने सब कुछ हड़प लिया.

JBT Desk
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Rahul Gandhi In Dallas: अभी हाल ही में राहुल गांधी वॉशिंगटन डीसी पहुंचे और प्रेस मीडिया से प्रेस कॉन्फ़्रेंस करते हुए हर सवाल का बेबाकी से जवाब दिया. लेकिन वहां के एक वरिष्ठ पत्रकार रोहित शर्मा ने उनके साथ बिताये अपने अनुभव को इंडिया टुडे के माध्यम से सांझा किया है और 7 सितम्बर को अपने साथ हुए घटना का विवरण दिया है. क्या कहा रोहित शर्मा ने पढिए.. 

7 सितंबर को, मैंने भारत के विपक्षी नेता राहुल गांधी की अमेरिका यात्रा को कवर करने के लिए डलास, टेक्सास का दौरा किया. राहुल गांधी के अमेरिका दौरे को लेकर काफी उत्सुकता थी, खासकर उनके हाल के चुनावी प्रदर्शन के बाद. इस यात्रा की कवरेज के दौरान, मेरी मुलाकात इंडियन ओवरसीज कांग्रेस (IOC) के अध्यक्ष सैम पित्रोदा से हुई, जिन्होंने पहले भी मेरी इंटरव्यू में सहमति दी थी.

मैंने निर्धारित समय पर टेक्सास के इरविंग स्थित रिट्ज कार्लटन होटल में पहुंचकर सैम से मुलाकात की. सैम ने गर्मजोशी से मेरा स्वागत किया और हम राहुल गांधी की यात्रा पर चर्चा करने लगे. सैम ने मेरी कई सवालों का सहजता से जवाब दिया, लेकिन जब मैंने अपने अंतिम सवाल में बांग्लादेश में मारे जा रहे हिंदुओं के मुद्दे को उठाया, तो स्थिति बदल गई.

सवाल पूछते ही मच गया बवाल

मेरे अंतिम सवाल ने साक्षात्कार का माहौल बिगाड़ दिया. सवाल पूछते ही कमरे में अराजकता फैल गई. राहुल गांधी की टीम के एक सदस्य ने मेरा फोन छीन लिया और चिल्लाते हुए कहा, 'बंद करो! बंद करो!' सैम पित्रोदा भी स्थिति को संभालने की कोशिश कर रहे थे, लेकिन राहुल की टीम ने साक्षात्कार को बाधित करने की कोशिश की.

फोन और रिकॉर्डिंग पर कब्जा

साक्षात्कार के दौरान, राहुल की टीम ने मेरा माइक और फोन छीनने की कोशिश की. उन्होंने जबरन मेरे फोन से साक्षात्कार की रिकॉर्डिंग डिलीट कर दी और हाल ही में डिलीट किए गए फ़ोल्डर तक पहुंचने का प्रयास किया. इसके बाद, उन्होंने मेरे iCloud को भी चेक किया, यह सुनिश्चित करने के लिए कि कोई भी रिकॉर्डिंग बची न रहे.

साक्षात्कार के बाद की स्थिति

30 मिनट की मशक्कत के बाद, टीम ने आखिरकार शांत हो कर मेरा फोन वापस किया. हालांकि, मेरा फोन चार दिनों तक उनके कब्जे में रहा और मेरे पास कोई विकल्प नहीं था. मैं होटल से बाहर निकलने के बाद सैम को सारी घटना की जानकारी दी. उसने अगली सुबह एक और साक्षात्कार का सुझाव दिया, लेकिन ऐसा कभी नहीं हुआ.

राहुल गांधी की प्रेस स्वतंत्रता की दावों पर सवाल

आश्चर्यजनक बात यह है कि जब राहुल गांधी ने अमेरिका में प्रेस की स्वतंत्रता पर बात की, तो उनकी अपनी टीम प्रेस को चुप कराने में व्यस्त थी. राहुल गांधी की प्रेस स्वतंत्रता के दावों के विपरीत, उनके खेमे ने पूरी तरह से प्रेस की स्वतंत्रता का उल्लंघन किया. अखिरकार, एक प्रेस क्लब के कार्यक्रम में मेरे सहकर्मी ने वही सवाल पूछा, जिसे कांग्रेस के आधिकारिक ट्विटर हैंडल से ट्वीट किया गया. इस घटना ने दिखाया कि भारत और अमेरिका में प्रेस की स्वतंत्रता को लेकर दावे और वास्तविकता में कितना फर्क हो सकता है.

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13 September 2024, 08:52 PM IST

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