टोंगा के पास 7.1 तीव्रता का भूकंप, सुनामी का बढ़ा खतरा, चेतावनी जारी
दक्षिण प्रशांत महासागर में स्थित टोंगा द्वीप समूह में 7.1 तीव्रता का भूकंप आया, जिसके बाद सुनामी की चेतावनी जारी की गई. टोंगा, फिजी और समोआ के तटीय इलाकों में सुनामी लहरों का खतरा है और स्थानीय अधिकारियों ने सुरक्षित स्थानों पर जाने की सलाह दी है.

दक्षिण प्रशांत महासागर में स्थित टोंगा द्वीप समूह के पास 7.1 तीव्रता के भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं, जिसके बाद सुनामी की चेतावनी जारी की गई है. जर्मन रिसर्च सेंटर फॉर जियोसाइंसेज (GFZ) के अनुसार, ये भूकंप टोंगा द्वीप से कुछ दूरी पर 10 किमी की गहराई में आया था. इसके बाद, यूएस सुनामी वार्निंग सिस्टम ने आस-पास के तटीय इलाकों के लिए चेतावनी जारी कर दी है, जिसमें टोंगा, फिजी और समोआ जैसे द्वीप शामिल हैं. स्थानीय अधिकारियों ने समुद्र तटों से दूर रहने और सुरक्षित स्थानों पर जाने की सलाह दी है.
भूकंप के कारण सुनामी का खतरा
यूएस सुनामी वार्निंग सिस्टम ने चेतावनी दी है कि टोंगा, फिजी और समोआ के तटीय इलाकों में सुनामी लहरों के आने की संभावना है. इन क्षेत्रों में मौजूदा समय में भारी समुद्री गतिविधियों के कारण इस बात की आशंका जताई जा रही है कि समुद्र की लहरें उफान पर आ सकती हैं. अधिकारियों ने स्थानीय लोगों को तटीय इलाकों से तुरंत हटा लेने की सलाह दी है ताकि किसी प्रकार के नुकसान से बचा जा सके.
टोंगा और क्षेत्रीय भूगर्भीय स्थिति
टोंगा एक द्वीप समूह है, जिसमें 170 से ज्यादा द्वीप शामिल हैं और ये भूकंप और ज्वालामुखी गतिविधियों के लिए जाना जाता है. 2022 में यहां हुए हंगा टोंगा-हंगा हापाई ज्वालामुखी विस्फोट ने पूरे क्षेत्र में भारी तबाही मचाई थी. भूकंपीय गतिविधियों के चलते इस क्षेत्र में भूकंप और सुनामी के खतरों का लगातार सामना करना पड़ता है. यही कारण है कि यहां के तटीय क्षेत्रों में लगातार जागरूकता बनाए रखने के लिए प्रशासन की तरफ से सतर्कता जारी रहती है.
भारत का प्रतिक्रिया और म्यांमार का हाल
भारत मौसम विभाग (IMD) ने स्पष्ट किया है कि भारत के तटीय इलाकों को इस भूकंप से कोई खतरा नहीं है. वहीं, 2 दिन पहले म्यांमार में आए विनाशकारी भूकंप ने भारी तबाही मचाई थी, जिसमें 1,700 से ज्यादा लोगों की जान चली गई थी. म्यांमार के दूसरे सबसे बड़े शहर मांडले में स्थिति बेहद खराब है, और लोग अब भी मलबे में दबे अपने परिजनों की खोज में जुटे हुए हैं. भारत ने म्यांमार की मदद के लिए ‘ऑपरेशन ब्रह्मा’ भी चलाया है, ताकि राहत कार्यों को तेज किया जा सके.