D8 समिट के लिए 8 मुस्लिम देशों की बैठक, लेकिन इजराइल को क्यों सता रहा डर

D8 summit: इजिप्ट की राजधानी काहिरा में आठ मुस्लिम देशों की बैठक हो रही हैं. डी-8 में एक दशक बाद ईरान के राष्ट्रपति भी हिस्सा लेंगे. ऐसा कहा जा रहा है कि आर्थिक मुद्दों के साथ-साथ फिलिस्तीन मुद्दे और इजरायल के खिलाफ संभावित प्रस्तावों पर चर्चा होने की संभावना है. 

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D8 summit: इजिप्ट में डी-8 ऑर्गेनाइजेशन फॉर इकनॉमिक कोऑपरेशन की बैठक हो रही है. इस संगठन में पाकिस्तान, बांग्लादेश, तुर्की, ईरान, इंडोनेशिया, मलेशिया, नाइजीरिया और इजिप्ट शामिल हैं. बैठक में आर्थिक मुद्दों के साथ-साथ फिलिस्तीन मुद्दे और इजरायल के खिलाफ संभावित प्रस्तावों पर चर्चा होने की संभावना है. 

कौन-कौन से देश डी-8 में शामिल

डी-8 संगठन, जो 1997 में मुस्लिम देशों की आर्थिक तरक्की के लिए स्थापित हुआ था, उनमें शामिल देशों की कुल आबादी लगभग सवा अरब है. यह दुनिया की मुस्लिम आबादी का लगभग 60% है. डी-8 के सदस्य देश:

पाकिस्तान
बांग्लादेश
इंडोनेशिया
मलेशिया
नाइजीरिया
इजिप्ट
तुर्की
ईरान

इस संगठन की खास बात यह है कि इसमें सऊदी अरब, इराक, सीरिया, कतर और यूएई जैसे अरब देश शामिल नहीं हैं.

बैठक का एजेंडा: आर्थिक और सामाजिक मुद्दे

डी-8 का प्राथमिक उद्देश्य आर्थिक विकास रहा है, लेकिन समय के साथ इसमें सामाजिक मुद्दे भी शामिल हो गए. इस बार की बैठक में ईरान के राष्ट्रपति मसूद पेजेश्कियान भी हिस्सा ले रहे हैं. यह एक दशक बाद किसी ईरानी नेता की पहली इजिप्ट यात्रा है, जो कूटनीतिक रूप से काफी अहम मानी जा रही है.

सामरिक और व्यापारिक महत्व

डी-8 के सदस्य देश सामरिक और व्यापारिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण हैं:

ईरान और नाइजीरिया में तेल और गैस के बड़े भंडार हैं. तुर्की और ईरान पश्चिम एशिया और यूरोप के लिए रणनीतिक रूप से जरूरी हैं. बांग्लादेश और पाकिस्तान बाजार और श्रमशक्ति के लिए जाने जाते हैं. 

इजरायल के खिलाफ प्रस्ताव की संभावना

माना जा रहा है कि यह बैठक इजरायल के खिलाफ प्रस्ताव लाने और अंतरराष्ट्रीय मंच पर दबाव बनाने की कोशिश करेगी. इससे पहले भी ईरान ने मुस्लिम देशों से इजरायल से दूरी बनाने की अपील की थी. 

डी-8 के अलावा, कई अन्य अंतरराष्ट्रीय संगठन मुस्लिम देशों के लिए काम करते हैं:

इस्लामिक डेवलपमेंट बैंक: सऊदी अरब स्थित यह बैंक इस्लामिक देशों के आर्थिक विकास पर केंद्रित है. 
ऑर्गनाइजेशन ऑफ इस्लामिक कोऑपरेशन (OIC): 50 से अधिक देशों का यह समूह मुस्लिम देशों के सहयोग को बढ़ावा देता है
इस्लामिक चैंबर ऑफ कॉमर्स, इंडस्ट्री एंड एग्रीकल्चर: यह संगठन आर्थिक और सामाजिक क्षेत्र पर जोर देता है
इस्लामिक सॉलिडेरिटी फंड: यह सामाजिक और धार्मिक उन्नति के लिए काम करता है

डी-8 की बैठक से उम्मीद जताई जा रही है कि यह संगठन अपनी सामूहिक ताकत को और मजबूत करेगा और मुस्लिम देशों के हितों की आवाज को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मजबूती से उठाएगा
  First Updated : Wednesday, 18 December 2024