Mobiles Exploded In Lebanon: लेबनान इन दिनों सीरियल ब्लास्ट्स से दहशत में है. मंगलवार को पेजर्स में हुए धमाकों के बाद बुधवार को वॉकी-टॉकी और अन्य इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों में विस्फोट हुए. इन धमाकों में अब तक 20 से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है और करीब 400 लोग घायल हो गए हैं. राजधानी बेरूत सहित दक्षिणी लेबनान के कई क्षेत्रों में धमाकों की खबरें आ रही हैं. पेजर्स के माध्यम से हुए धमाकों में हिजबुल्लाह सांसद अली अम्मार के बेटे की भी मौत हो गई थी, जिसका अंतिम संस्कार करते समय भी धमाके हुए. इसके अलावा, लैपटॉप, मोबाइल और सोलर पैनल्स में भी विस्फोट की खबरें सामने आई हैं.
इजरायल और हिज्बुल्लाह के बीच यह संघर्ष पहले से ही गहरा था, लेकिन अब यह और उग्र हो गया है. हिजबुल्लाह ने मंगलवार को इजरायल पर मिसाइल हमले किए. हालांकि इजरायली सेना ने इनमें से कई रॉकेट्स को नाकाम कर दिया. इजरायल ने अपने उत्तरी बॉर्डर पर सुरक्षा बलों की संख्या बढ़ा दी है और उत्तरी कमांड को भी सतर्क कर दिया है.
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, लेबनान में हुए पेजर और वॉकी-टॉकी धमाकों के पीछे इजरायल का हाथ है. इजरायल ने हिजबुल्लाह द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले पेजर और वॉकी-टॉकी में विस्फोटक सामग्री पहले से ही डाल दी थी. विशेषज्ञों का मानना है कि हिजबुल्लाह के लड़ाके पेजर और वॉकी-टॉकी का इस्तेमाल कर रहे थे, ताकि उनकी बातचीत को ट्रैक न किया जा सके, लेकिन इजरायल ने इस सुरक्षा को तोड़ते हुए पेजर को ही घातक हथियार बना दिया.
धमाकों के बाद लेबनान की सरकार ने पेजर के इस्तेमाल पर तत्काल रोक लगा दी है. हिजबुल्लाह ने अपने सदस्यों को पहले ही मोबाइल फोन के इस्तेमाल से बचने का निर्देश दिया था और उन्हें पेजर्स और वॉकी-टॉकी का इस्तेमाल करने के लिए कहा था. लेकिन अब, इन उपकरणों के जरिए ही विस्फोट होने लगे हैं. इससे लेबनान की जनता में भय का माहौल बन गया है.
इजरायली पीएम बेंजामिन नेतन्याहू और सेना के उच्च अधिकारियों ने इस ऑपरेशन को अंजाम देने से पहले अमेरिका को इसकी जानकारी दी थी. अमेरिकी अधिकारी ने दावा किया कि इजरायल के पास हिजबुल्लाह की संदेहपूर्ण गतिविधियों का पता चलने के बाद सीमित समय था, इसलिए उसने यह ऑपरेशन तेजी से किया. यह विस्फोट इजरायल की सुरक्षा रणनीति का हिस्सा थे, जो उसने हिजबुल्लाह के बढ़ते प्रभाव को कमजोर करने के लिए किए.
विशेषज्ञों के अनुसार, यह ऑपरेशन सदी का सबसे खतरनाक ऑपरेशन माना जा रहा है, क्योंकि इजरायल ने बहुत ही सूक्ष्म और तकनीकी तरीके से अपने दुश्मन पर हमला किया. छोटे-छोटे पेजर्स और वॉकी-टॉकी जैसे उपकरणों को विस्फोटक हथियार में बदलकर इजरायल ने हिजबुल्लाह को भारी नुकसान पहुंचाया है.