ईरान-इजरायल के बीच जंग का खतरा, क्या खिंचने वाली है नई रेखा?
ईरान के विदेश मंत्री अब्बास अराकची ने इजरायल को खुली धमकी दी है कि उनकी सुरक्षा के लिए कोई 'रेड लाइन' नहीं है. इस बयान ने मध्य पूर्व में युद्ध की नई चिंगारी जला दी है. हाल ही में ईरान ने इजरायल पर बैलिस्टिक मिसाइलें दागी हैं, जिसके जवाब में इजरायल ने भी कड़ा संदेश दिया है. इस बीच, इजरायली प्रधानमंत्री नेतन्याहू ने संयुक्त राष्ट्र से शांति सैनिकों को हटाने की अपील की है. क्या यह स्थिति एक बड़े संघर्ष की ओर ले जाएगी? जानने के लिए पूरा लेख पढ़ें!
War Between Iran And Israel: मध्य पूर्व का क्षेत्र हमेशा से संघर्ष और तनाव का गवाह रहा है. हालिया घटनाक्रम में ईरान और इजरायल के बीच की बढ़ती तनातनी ने एक बार फिर से पूरे क्षेत्र में युद्ध की आशंका को जन्म दिया है. ईरान के विदेश मंत्री अब्बास अराकची का हालिया बयान इस तनाव को और गहरा करता है. उन्होंने इजरायल को चेतावनी देते हुए कहा है कि उनके पास अपनी सुरक्षा के लिए कोई 'रेड लाइन' नहीं है. इस बयान का सीधा मतलब इजरायल को साफ संदेश देना है कि ईरान किसी भी हद तक जाने के लिए तैयार है.
ईरान की धमकी
अराकची ने कहा कि ईरान अपनी जनता और हितों की सुरक्षा के लिए किसी भी सीमा तक जा सकता है. उनका कहना था कि ईरान ने हाल के दिनों में क्षेत्र में युद्ध को रोकने के लिए काफी प्रयास किए हैं, लेकिन अगर उनकी सुरक्षा को खतरा होता है तो वे चुप नहीं बैठेंगे. इस बयान के बाद से क्षेत्र में तनाव और बढ़ गया है, खासकर जब से इजरायल और ईरान समर्थित समूहों के बीच लड़ाई जारी है.
मिसाइल हमले की स्थिति
1 अक्टूबर को ईरान ने इजरायल पर 180 से अधिक बैलिस्टिक मिसाइलें दागीं. इनमें से कई को इजरायली डिफेंस सिस्टम ने रोक लिया लेकिन कुछ ने अपने लक्ष्य तक पहुंचकर एक फिलिस्तीनी नागरिक की जान ले ली. इसके जवाब में इजरायल के रक्षा मंत्री योआव गैलेंट ने चेतावनी दी कि इजरायल ईरान पर एक 'सटीक और चौंकाने वाला' हमला करेगा.
मध्य पूर्व की स्थिति
ईरान और इजरायल के बीच जारी तनाव ने मध्य पूर्व के हालात को और गंभीर बना दिया है. इजरायल, लेबनान में हिज़्बुल्लाह और गाजा में हमास के खिलाफ लड़ाई कर रहा है. अन्य ईरान समर्थित समूह जैसे यमन के हूथी भी इजरायल पर हमले कर रहे हैं. इस सब के बीच अमेरिका और ईरान के बीच भी संघर्ष की स्थिति उत्पन्न हो रही है.
नेतन्याहू का संयुक्त राष्ट्र से आग्रह
इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने संयुक्त राष्ट्र से अनुरोध किया है कि वह लेबनान में तैनात यूएनपीएफ शांति सैनिकों को युद्ध क्षेत्र से हटा ले. उनका कहना है कि हाल में इन शांति सैनिकों पर कई हमले हुए हैं, जिसमें पांच सैनिक घायल हुए हैं. हिज़्बुल्लाह ने इन आरोपों का खंडन करते हुए कहा है कि इजरायल स्वयं इन सैनिकों को निशाना बना रहा है.
अमेरिका की चिंता
अमेरिकी रक्षा सचिव लॉयड ऑस्टिन ने इजरायली रक्षा मंत्री से बात करते हुए शांति सैनिकों की सुरक्षा को लेकर गहरी चिंता जताई है. उन्होंने इजरायल से अपील की है कि वह शांति सैनिकों और लेबनानी सेना की सुरक्षा सुनिश्चित करे.
ईरान और इजरायल के बीच बढ़ती खाई न केवल इन दोनों देशों के लिए, बल्कि पूरे मध्य पूर्व के लिए चिंता का विषय बन चुकी है. इस तनाव का कोई हल न निकलने पर क्षेत्र में एक बड़े युद्ध की संभावना बढ़ सकती है. समय ही बताएगा कि यह स्थिति किस दिशा में जाती है, लेकिन मौजूदा हालात ने निश्चित रूप से पूरे क्षेत्र को एक बार फिर से संकट में डाल दिया है.