ईरानी महिलाओं पर हाई-टेक पहरा! हिजाब की निगरानी के लिए ड्रोन और फेसियल रिकग्निशन का हो रहा इस्तेमाल, UN रिपोर्ट में खुलासा
ईरान ने शुक्रवार को एक रिपोर्ट जारी किया है. संयुक्त राष्ट्र की इस रिपोर्ट में कहा गया है कि ईरान महिलाओं पर नज़र रखने और हिजाब न पहनने वालों की पहचान करने के लिए हवाई ड्रोन तैनात कर रहा है, साथ ही इलेक्ट्रॉनिक निगरानी में चेहरे की पहचान करने वाली प्रणाली का भी इस्तेमाल किया जा रहा है. इस्लामिक रिपब्लिक ऑफ ईरान पर स्वतंत्र अंतर्राष्ट्रीय तथ्य-खोज मिशन की रिपोर्ट में कहा गया है कि उन्हें ईरानी पुलिस द्वारा पेश किया गया 'नाज़र' नाम का एक ऐप मिला है.

ईरान में महिलाओं पर हिजाब अनिवार्यता को लेकर सख्ती और बढ़ गई है. संयुक्त राष्ट्र की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक, ईरान की सरकार अब ड्रोन, फेसियल रिकग्निशन तकनीक और मोबाइल ऐप के जरिए महिलाओं की निगरानी कर रही है. यह रिपोर्ट इंडिपेंडेंट इंटरनेशनल फैक्ट-फाइंडिंग मिशन द्वारा जारी की गई है, जिसमें बताया गया है कि ईरान ने एक मोबाइल ऐप 'नाजर' लॉन्च किया है, जिससे लोग बिना हिजाब वाली महिलाओं की जानकारी सरकार को दे सकते हैं.
सितंबर 2022 में महसा अमीनी की मौत के बाद ईरान में सरकार के खिलाफ जबरदस्त विरोध प्रदर्शन हुए थे, जिसमें हजारों महिलाओं ने हिजाब की अनिवार्यता को लेकर खुलकर विरोध जताया. इसके बावजूद, अब ईरान की सरकार इलेक्ट्रॉनिक सर्विलांस का सहारा लेकर इस कानून को और कठोरता से लागू कर रही है.
हिजाब निगरानी के लिए ड्रोन और सर्विलांस कैमरे
संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट में दावा किया गया है कि ईरान में बड़े पैमाने पर निगरानी ड्रोन का इस्तेमाल किया जा रहा है, जो सार्वजनिक स्थानों पर महिलाओं की गतिविधियों पर नजर रखते हैं. इसके अलावा, तेहरान के अमीरकबीर विश्वविद्यालय में गेट पर फेसियल रिकग्निशन कैमरे लगाए गए हैं, जो बिना हिजाब पहने महिलाओं की पहचान कर सकते हैं. रिपोर्ट में यह भी बताया गया कि ईरान की सड़कों पर लगे हाई-टेक कैमरे अब हिजाब कानून तोड़ने वाली महिलाओं को ट्रैक कर रहे हैं. इन कैमरों से जो डेटा मिलता है, उसे पुलिस तक पहुंचाया जाता है, जिससे तुरंत कार्रवाई हो सके.
'नाजर' ऐप से आम जनता भी कर रही निगरानी
संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट में 'नाजर' नामक एक मोबाइल ऐप का भी ज़िक्र किया गया है, जिसे ईरानी पुलिस ने पेश किया है. यह ऐप लोगों को बिना हिजाब वाली महिलाओं की रिपोर्ट करने की सुविधा देता है. इस ऐप के जरिए कोई भी व्यक्ति स्थान, तारीख, समय और वाहन का रजिस्ट्रेशन नंबर डालकर रिपोर्ट कर सकता है. ऐप के जरिए पुलिस को अलर्ट मिलते ही वाहन को ट्रैक किया जाता है और मालिक को चेतावनी भरा मैसेज भेजा जाता है.अगर नियमों का उल्लंघन जारी रहता है, तो वाहन को जब्त कर लिया जाता है.
महसा अमीनी की मौत के बाद भी प्रदर्शन जारी
महसा अमीनी की मौत के बाद से ही ईरान में हिजाब के खिलाफ विरोध तेज हो गया था, लेकिन सरकार अब और ज्यादा सख्ती बरत रही है. UN की रिपोर्ट में कहा गया है कि महिलाएं अब भी गिरफ्तारी, जेल और मौत के खतरे के बावजूद हिजाब के खिलाफ आवाज उठा रही हैं. रिपोर्ट में यह भी कहा गया कि ईरान सरकार अब नागरिकों और व्यवसायों को इस कानून को लागू करवाने में शामिल कर रही है. सरकार इसे "सामाजिक जिम्मेदारी" का नाम देकर आम जनता को भी इसमें भागीदार बना रही है.
ईरान सरकार की चुप्पी
संयुक्त राष्ट्र की 20 पेज की इस रिपोर्ट के खुलासे के बावजूद, ईरान की सरकार ने अब तक कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी है. हालांकि, सरकार पहले भी अंतरराष्ट्रीय दबाव को नजरअंदाज करती आई है और हिजाब कानून को सख्ती से लागू करने पर अड़ी हुई है.