Maldives: 'देश में विदेशी सैनिक तैनात ही नहीं,' भारतीय सैनिकों को वापस भेजने का दावा झूठा!
Maldives: पूर्व विदेश मंत्री अब्दुल्ला शाहिद ने कहा कि मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू के द्वीप से भारतीय सैन्य कर्मियों को वापस बुलाने के दावे 'झूठ' बताया.
हाइलाइट
- भारतीय सैनिकों को वापस बुलाने का दावा झूठ- अब्दुल्ला शाहिद
- 'हजारों भारतीय सैन्य कर्मियों' के दावे झूठ की एक और कड़ी थे'
Maldives: मालदीव के पूर्व विदेश मंत्री अब्दुल्ला शाहिद ने रविवार को राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू के भारतीय सैनिकों को वापस बुलाने के दावों को गलत बताया. उन्होंने कहा कि 'ये सिर्फ झूठ की कड़ी में से एक हैं.' एक्स पर एक पोस्ट में शाहिद ने कहा कि द्वीप राष्ट्र में कोई भी सशस्त्र विदेशी सैनिक तैनात नहीं है. उन्होंने कहा कि द्वीप राष्ट्र में विदेशी सैनिकों की संख्या देने में मुइज्जू सरकार की असमर्थता बहुत कुछ कहती है.'
सैनिकों को वापस बुलाने का दावा झूठ- अब्दुल्ला शाहिद
मालदीवियन डेमोक्रेटिक पार्टी के नवनिर्वाचित अध्यक्ष ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर पोस्ट करते हुए कहा, '100 दिन बाद, यह साफ है कि राष्ट्रपति मुइज्जू के 'हजारों भारतीय सैन्य कर्मियों' के दावे झूठ की एक और कड़ी थे. मौजूदा प्रशासन प्रदान करने में असमर्थ है.' प्रावधान बहुत कुछ कहता है, देश में कोई सशस्त्र विदेशी सैनिक तैनात नहीं हैं.' उन्होंने लिखा कि पारदर्शिता मायने रखती है और सच्चाई कायम रहनी चाहिए.'
100 days in, it's clear: President Muizzu's claims of 'thousands of Indian military personnel' were just another in a string of lies. The current administration's inability to provide specific numbers speaks volumes. There are no armed foreign soldiers stationed in the country.… pic.twitter.com/7q9baIJ6X6
— Abdulla Shahid (@abdulla_shahid) February 25, 2024
भारतीय सैनिकों को हटाने की बात
5 फरवरी को, मुइज्जू ने कहा कि भारतीय सैन्य कर्मियों के पहले समूह को 10 मार्च से पहले द्वीप राष्ट्र से वापस भेज दिया जाएगा, जबकि दो विमानन प्लेटफार्मों पर तैनात बचे भारतीय सैनिकों को 10 मई तक वापस ले लिया जाएगा. मालदीव के राष्ट्रपति ने कहा था कि लक्ष्य द्वीप राष्ट्र को उस स्थिति तक ले जाना है जहां देश में कोई विदेशी सैन्य उपस्थिति न हो. जब व्यापक रूप से चीन समर्थक नेता के रूप में देखे जाने वाले मुइज्जू ने नवंबर 2023 में राष्ट्रपति चुनाव जीता था, तो उन्होंने द्वीप राष्ट्र से भारतीय सैनिकों को हटाने का वादा किया था.
पीएम मोदी की लक्षद्वीप यात्रा के बाद शुरू हुआ था बवाल
उनका बयान जनवरी में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की लक्षद्वीप यात्रा के खिलाफ मालदीव के राजनेताओं की अपमानजनक टिप्पणियों पर राजनयिक विवाद के बीच आया, जिसके कारण दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंधों में तनाव पैदा हो गया. इसके बाद, मुइज्जू ने अपने भारत विरोधी रुख को दोगुना कर दिया. विवाद पैदा होने के कुछ दिनों बाद मुइज्जू ने भारत पर परोक्ष रूप से कटाक्ष करते हुए कहा, 'हम छोटे हो सकते हैं, लेकिन इससे आपको हमें धमकाने का लाइसेंस नहीं मिल जाता.'