Walking Meditation: आमतौर पर अपने शरीर और मानसिक स्वास्थ्य के लिए हेल्थ एक्सपर्ट मेडिटेशन की सलाह देते हैं. बहुत से लोग नियमित तौर पर मेडिटेशन करते भी हैं. लेकिन क्या अपने वॉकिंग मेडिटेशन का नाम सुना है. ये ऐसा मेडिटेशन है जिसको करने के लिए किसी तरह की कोई मेहनत नहीं करनी होती बल्कि चलते फिरते इसको किया जा सकता है. आज आपको बताएंगे वॉकिंग मेडिटेशन क्या होता है और इससे होने वाले फायदे क्या हैं.
ध्यान या मेडिटेशन करना भी वर्कआउट का ही हिस्सा होता है. आपने हमेशा मेडिटेशन करते हुए लोगों को एक जगह पर आंखे बंद कर आराम से बैठे हुए देखा होगा. क्या आपको लगता है कि चलते हुए ध्यान लगाया जा सकता है? तो आपको बता दें कि चलते-चलते भी ध्यान लगाया जा सकता है. आपको यह जान कर हैरानी होगी कि इस तरह के मेडिटेशन का वैज्ञानिक आधार भी है.
कैसे करें वॉकिंग मेडिटेशन- सबसे पहले एक सुकून भरी जगह का चुनाव करें. एक साइड से दूसरी साइड तक बिल्कुल आराम से चलना स्टार्ट करें. गहरी सांस लेते हुए धीमी गति से चलें. साथ ही कदमों की ताल, मुड़ना, सांस लेना और छोड़ना, आपको हर एक चीज़ का एहसास लें.
वॉकिंग मेडिटेशन के फायदे- वॉकिंग मेडिटेशन से आपको शरीर हेल्दी रहता है और बीमारियों से भी बचा रहता है. शांत मन से शरीर में ऊर्जा और उत्साह बढ़ता है. तनाव, अकेलापन और उदासी से बी कम होती है. एक सुकून भरी नींद के साथ दिमाग भी हेल्दी बनता है. इस प्रैक्टिस से शरीर का संतुलन बनाए रखा जा सकता है. इसको करने के पाचन बेहतर होता है, शरीर का मेटाबॉल्जिम भी स्ट्रोंग होता है. सबसे जरूरी आपका वजन भी सामान्य रहता है.
मेडिटेशन के समय हर एक क्रिया पर ध्यान देने से शरीर के प्रति जागरूकता पैदा होती है. वॉकिंग मेडिटेशन करने से शारीरिक ही नहीं मानसिक तौर पर भी कई दिक्कतें कम होती हैं. इससे डिप्रेशन की दिक्कत से धीरे-धीरे निजात मिलती है. साथ ही मूड बेहतर होता है और ब्लड प्रेशर भी सही रहता है. इस मेडिटेशन से टाइप-2 डायबिटीज से पीड़ित लोगों को काफी राहत मिलती है.