Swiggy: अकाउंट हैक कर करते थे ठगी, फिर सस्ते में बेचते थे समान, अब पुलिस ने किया गिरफ्तार

दिल्ली पुलिस ने कई स्विगी डिलीवरी खातों को हैक करने के आरोप में दो लोगों को गिरफ्तार किया है. जिसमें 25 वर्षीय अनिकेत कालरा और 23 वर्षीय हिमांशु कुमार का नाम शामिल है.

Manoj Aarya
Edited By: Manoj Aarya

Two Gurugram Youths Hacked Swiggy Accounts: दिल्ली पुलिस ने कई स्विगी डिलीवरी खातों को हैक करने के आरोप में दो लोगों को गिरफ्तार किया है. जिसमें 25 वर्षीय अनिकेत कालरा और 23 वर्षीय हिमांशु कुमार का नाम शामिल है. अनिकेत पहले स्विगी और ज़ोमैटो के लिए डिलीवरी बॉय के रूप में काम करता था. वहीं, दूसरा युवक स्विगी खातों तक पहुंचने के लिए 'इंटरएक्टिव वॉयस रिस्पांस सिस्टम' का उपयोग करने का आरोपी है. रिपोर्ट के मुताबिक, दोनों आरोपियों ने कथित तौर पर हैक किए गए खातों के जरिए किराने की समान के लिए ऑर्डर दिए और बाद में उनको कम कीमतों पर बेच दिया.

रिपोर्ट के अनुसार, डीसीपी (दक्षिण) अंकित कुमार ने सोमवार को कहा कि आरोपी व्यक्तियों ने स्विगी खातों को हैक करने के लिए एक 'इंटरएक्टिव वॉयस रिस्पांस सिस्टम' का इस्तेमाल किया, जिससे किराने की वस्तुओं के ऑर्डर देने के लिए सिस्टम में हेरफेर किया गया. इसके बाद, उन्होंने धोखाधड़ी से प्राप्त वस्तुओं को रियायती दर पर बेच दिया.

कैसे पकड़े गए हैकर्स?

हिंदुस्तान टाइम्स में छपी खबर के मुताबिक, सुल्तानपुर में एक महिला द्वारा दर्ज की गई शिकायत के आधार पर दोनों आरोपियों की गरिफ्तारी गई है. जिसने आरोपी द्वारा स्विगी से जुड़े उसके लेज़ी पे खाते से ₹97,197 निकालने की सूचना दी गई थी. आगे की जांच करने पर, पुलिस ने कॉल डिटेल रिकॉर्ड और लेनदेन की जानकारी जुटाई. जिससे पता चला कि महिला को ऑटोमेटेड टेलीफोनी इंटरएक्टिव वॉयस रिस्पांस (आईवीआर) सिस्टम से देर रात एक कॉल आई, जिसमें उसे बताया गया कि कोई उसका अकाउंट हैक करने का प्रयास कर रहा है. इसके बाद, उसके स्विगी खाते के माध्यम से ₹97,197 रुपये के फर्जी ऑर्डर किए गए.

जांच में गुड़गांव में उत्पादों की डिलीवरी का पता चला, जहां किराने की समान को फर्जी स्वामित्व विवरण के तहत वितरित किया जा रहा था. इसके बाद पुलिस ने गुड़गांव में अनिकेत और हिमांशु को गिरफ्तार कर लिया.

ऑनलाइन छूट का इस्तेमाल कर की खरीदारी 

रिपोर्ट में कहा गया है कि पुलिस के अनुसार, अनिकेत कालरा ने कम कीमत पर किराने का सामान खरीदने के लिए ऑनलाइन छूट का इस्तेमाल किया और उन्हें बाजार में फिर से बेच दिया, जिससे प्रत्येक ऑर्डर पर पांच से दस प्रतिशत की बचत हुई.

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20 February 2024, 11:41 PM IST

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