Ramadan 2024: अरब देशों में एक दिन पहले क्यों शुरू होता है रमज़ान?
Ramadan 2024: पहला रोजा किस दिन रखना चाहिए, इसे लेकर दशकों से परंपरा चली आ रही है कि भारत में रोजा खाड़ी देश सऊदी अरब से एक दिन बाद रखा जाता है.
Ramadan 2024: रमज़ान इस्लामिक कैलेंडर का नौवां महीना है. इसमें इस्लाम धर्म को मानने वाले लोग एक महीने तक रोजा रखते हैं. हालांकि, पहला रोजा किस दिन रखा जाना है, इसे लेकर दशकों से परंपरा रही है कि रोजा रखने के मामले में भारत खाड़ी देश सऊदी अरब से एक दिन पीछे चलता है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि भारत में अरब से एक गिन बाद ही क्यों रोजा रखा जाता है, और ईद भी एक दिन बाद ही मनाई जाती है.
इस्लामिक हिजरी कैलेंडर
पूरी दुनिया के मुसलमान इस्लामिक हिजरी कैलेंडर को मानते हैं. जिसके हिसाब से उनके सभी त्योहार मनाए जाते हैं. इसी के हिसाब से रमजान की भी शुरुआत होती है. वहीं, साउदी अरब की बात करें तो रमजान के लिए वो एक अलग तरीके का इस्तेमाल करते हैं, जिसकी वजह से वहां पर एक दिन पहले रोजा रख लिया जाता है.
पहले रोजे की तारीख का भौगलिक कारण
कुछ लोग यह भी मानते हैं कि भारत और सऊदी अरब में अलग-अलग दिन रोजा शुरू करने का भौगोलिक कारणों को भी माना जाता है. उनका तर्क है कि सऊदी अरब और भारत अलग-अलग अक्षांश पर बना है. सऊदी अरब और भारत दोनों देशों में सूर्योदय और चंद्रोदय का समय अलग-अलग है. सऊदी अरब का अक्षांश की बात की जाए तो (23.8859° N, 45.0792° E) वहीं, भारत की बात की जाए तो (20.5937° N, 78.9629° E) है.
साफ तौर पर इसको समझा जाए तो मीडिया रिपोर्ट्स कहती हैं कि सऊदी अरब में जिस दिन चांद दिखता है उसके अगले दिन भारत, बांग्लादेश में दिखाई देता है. इसी के चलते भारत के लोग एक दिन बाद ही पहला रोजा और ईद मनाते हैं.
कब है पहला रोजा?
मक्का में मुस्लिमों के पवित्र महीने रमज़ान के रोजे का पहला दिन सोमवार, 11 मार्च या मंगलवार, 12 मार्च को होगा, जो चांद के दिखने पर निर्भर करेगा. रमज़ान इस्लामी कैलेंडर द्वारा निर्धारित किया जाता है, जो चांद देखने के साथ शुरू होता है. सऊदी अरब और अन्य मुस्लिम-बहुल देश महीने की शुरुआत निर्धारित करने के लिए चांद देखने वालों की गवाही पर भरोसा करते हैं.