कलाई टूटने के बाद भी इस भारतीय खिलाड़ी ने नहीं हारी हिम्मत, गेंदबाजो को जमकर कूटा
इन दिनों रणजी ट्रॉफी में क्वार्टर फाइनल मुकाबलें खेले जा रहे है। वहीं आंध्र प्रदेश और मध्य प्रदेश के बीच खेले गए मैच में एक खिलाड़ी ने अपनी 27 रनों की पारी के बावजूद सबका दिल जीत लिया। जी हां हम बात कर रहे है आंध्र प्रदेश की कप्तानी कर रहे हनुमा विहारी की। बता दें, वैसे तो हनुमा विहाकी दाएं हाथ के गेंदबाज है लेकिन इस मैच के दौरान वे बाएं हाथ से बल्लेबाजी करते हुए दिखाई दिए।
इन दिनों रणजी ट्रॉफी में क्वार्टर फाइनल मुकाबलें खेले जा रहे है। वहीं आंध्र प्रदेश और मध्य प्रदेश के बीच खेले गए मैच में एक खिलाड़ी ने अपनी 27 रनों की पारी के बावजूद सबका दिल जीत लिया। जी हां हम बात कर रहे है आंध्र प्रदेश की कप्तानी कर रहे हनुमा विहारी की। बता दें, वैसे तो हनुमा विहाकी दाएं हाथ के गेंदबाज है लेकिन इस मैच के दौरान वे बाएं हाथ से बल्लेबाजी करते हुए दिखाई दिए।
दरअसल मैच के पहले दिन बल्लेबाजी करते हुए तेज गेंदबाज आवेश खान की एक गेंद उनके हाथ पर लगी जिससे उनकी कलाई टूट गई थी और उनको पहले दिन रिटार्ड हर्ड होकर मैदान से बाहर जाना पड़ा था लेकिन दूसरे दिन एक बार फिर से हनुमा विहारी को मैदान पर देखा गया और एक हाथ से उन्होंने बल्लेबाजी भी की। ब
ल्लेबाजी के दौरान उनके दाएं हाथ की कलाई टूट गई थी यहीं कारण था कि मैच के दूसरे दिन हनुमा विहारी ने बाएं हाथ से बल्लेबाजी की। हाथ टूटने के बाद उनको बल्लेबाजी करता देख हर कोई हैरान रह गया। पहले दिन जब हनुमा विहारी 16 रन बनाकर बल्लेबाजी कर रहे थे तब उनके दाएं हाथ की कलाई टूट गई थी जिसके बाद उन्होंने दूसरे दिन जब टीम के 9 विकेट गिर चुके थे तब बल्लेबाजी करने का फैसला किया।
इस मैच में हनुमा विहारी ने 27 रनों की अहम पारी खेली। मैच में आंध्र प्रदेश ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 379 रन बनाए। उनकी इस हौसले और जजबे को हर कोई सलाम कर रहा है। बता दें, भारतीय टीम के लिए हनुमा विहारी ने 16 टेस्ट मैच खेले है लेकिन वे पिछले काफी समय से टीम में जगह नहीं बना पा रहे है। जिसके चलते अब वे रणजी ट्रॉफी में अपना दमखम दिखा रहे है।