'पैसा ऐसी चीज है...', चंपई सोरेन की बगावत पर क्या बोल गए सीएम हेमंत सोरेन
Hemant Soren on BJP: झारखंड विधानसभा चुनाव से पहले सीएम हेमंत सोरेन की पार्टी झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) में बगावती सुर उठने लगे हैं. राज्य में बड़ी राजनीतिक हलचल को हवा मिल रही है. लगातार अटकलें लग रही हैं कि पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन जेएमएम का साथ छोड़ कर बीजेपी में शामिल होना चाहते हैं. चंपई सोरेन के दिल्ली दौरे से ये इन कयासों को और जोर मिला है. इसी बीच सीएम हेमंत सोरेन का बड़ा बयान आया है.
Champai Soren: झारखंड में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. इससे पहले ही वहां की राजनीति में बड़ा भूचाल आ गया है. दरअसल पूर्व मुख्यमंत्री और झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) के नेता चंपई सोरेन के चंपई सोरेन के बगावती तेवर की खबरें सुर्खियों में है. बीते दिन अपने X हैंडल पर लिखे एक लंबे चौड़े पोस्ट में चंपई सोरेन ने इसके संकेत दिए हैं कि वह जल्द ही झामुमो छोड़ने वाले हैं. इसी बीच सीएम हेमंत सोरेन का बड़ा बयान आया है.
झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने जनता को संबोधित करते हुए कहा कि ये लोग (विपक्षी) गुजरात, असम, महाराष्ट्र से लोगों को ला कर यहां के पिछड़े, दलित और अल्पसंख्यक लोगों के ऊपर जहर बोने का काम करते हैं और एक दूसरे से लड़वाने का काम करते हैं. समाज छोड़िए, ये लोग घर भी फोड़ देते हैं और पार्टी तोड़ने का काम करते हैं. आए दिन विधायकों को खरीदते रहते हैं.
'नेताओं को पैसा पसंद'- सीएम हेमंत सोरेन
सीएम हेमंत सोरेन ने आगे कहा कि पैसा ऐसा चीज है कि नेता लोगों को इधर से उधर जाने में देर नहीं लगती. खैर कोई बात नहीं... हमारे इंडिया गठबंधन की सरकार 2019 से निरंतर जनता के बीच में खड़ी है.
चंपई सोरेन का बगावती तेवर
चंपई सोरेन का बगावती तेवर अब लोगों के सामने आ गया है. उन्होंने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक लंबी पोस्ट साझा की, जिसमें उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद उनके आत्मसम्मान को चोट पहुंची और उन्हें पार्टी के अंदर अपनी भूमिका को लेकर कड़वा अनुभव मिला, जिसने उन्हें वैकल्पिक रास्ता तलाशने के लिए मजबूर किया.
चंपई सोरेन इस वक्त दिल्ली में
चंपई सोरेन इस वक्त दिल्ली में हैं. उन्होंने ये पोस्ट दिल्ली पहुंचने के तुरंत बाद किया, जिससे उनके बीजेपी में शामिल होने की अटकलों को और बल मिला. उन्होंने आरोप लगाया कि जुलाई के पहले सप्ताह में उनके सभी सरकारी कार्यक्रम उनकी जानकारी के बिना पार्टी नेतृत्व द्वारा अचानक रद्द कर दिए गए और तब वह मुख्यमंत्री पद पर थे. उन्होंने अपने पोस्ट में लिखा, 'जब मैंने कार्यक्रम रद्द करने के कारणों के बारे में पूछा तो मुझे बताया गया कि 3 जुलाई को पार्टी विधायकों की बैठक है और मैं तब तक किसी भी सरकारी कार्यक्रम में शामिल नहीं हो सकता.'