सिरसा में बूथ कैप्चरिंग! चुनाव के दौरान गोपाल कांडा के समर्थकों पर लगे आरोप

Haryana Assembly Elections: हरियाणा के सिरसा में हुए विधानसभा चुनावों के बीच बूथ कैप्चरिंग के आरोप लगे हैं. जिसके बाद विवाद खड़ा हो गया है. कई सोशल मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि गोपाल कांडा से जुड़े समर्थक मतदान अधिकारियों पर अनुचित प्रभाव डाल रहे हैं और मतदान प्रक्रिया में हेराफेरी करने की कोशिश कर रहे हैं.

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Haryana Assembly Elections: सिरसा में चल रहे विधानसभा चुनावों के बीच बूथ कैप्चरिंग के आरोपों के बाद विवाद खड़ा हो गया है. सोशल मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि गोपाल कांडा से जुड़े समर्थक मतदान अधिकारियों पर अनुचित प्रभाव डाल रहे हैं और मतदान प्रक्रिया में हेराफेरी करने की कोशिश कर रहे हैं.  यह घटना कथित तौर पर मतदान केंद्रों के आधिकारिक समापन समय के बाद हुई, जिससे चुनाव की ईमानदारी पर सवाल उठ रहे हैं. 

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, चुनाव आयोग के निर्देशों के तहत मतदान केंद्रों के गेट शाम 6 बजे बंद किए जाने चाहिए.  हालांकि, एक सोशल मीडिया पोस्ट में कांडा के सहयोगियों द्वारा अधिकारियों पर दबाव डालने का आरोप लगाया गया है कि वे गेट रात 9 बजे तक खुले रखें, जिससे चुनाव प्रक्रिया में हस्तक्षेप संभव हो सके. वहीं  भारत के चुनाव आयोग को संबोधित करते हुए एक पोस्ट में पूछा गया है, 'इस पर कोई कार्रवाई क्यों नहीं की जा रही?'

कौन है गोपाल कांडा?

हरियाणा की राजनीति में विवादित व्यक्ति गोपाल कांडा को अक्सर विभिन्न घोटालों में कथित संलिप्तता के लिए आलोचनाओं का सामना करना पड़ता है. इस ताजा मामले में उनका नाम चुनाव अधिकारियों को धमकाने और बूथ कैप्चरिंग की साजिश रचने के प्रयासों से जोड़ा जा रहा है. हालांकि ये दावे फिलहाल असत्यापित हैं, लेकिन सोशल मीडिया पर इन्हें काफी लोकप्रियता मिली है, जिससे चुनाव की निष्पक्षता पर संदेह पैदा हो रहा है. 

मामले पर चुनाव आयोग ने नहीं दिया कोई बयान 

हालांकि अभी तक चुनाव आयोग ने इन आरोपों के बारे में कोई सार्वजनिक बयान नहीं दिया है. मतदाताओं और कार्यकर्ताओं ने अधिकारियों की चुप्पी पर चिंता व्यक्त की है, और मामले में तत्काल कार्रवाई और जांच की मांग की है. यह स्थिति लगातार सामने आ रही है, और कई लोग औपचारिक प्रतिक्रिया का इंतजार कर रहे हैं. 

सोशल मीडिया यूजर्स के बीच फैला आक्रोश 

इस मुद्दे पर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर व्यापक आक्रोश फैल गया है, जिसमें यूजर्स ने चुनाव आयोग से त्वरित और सख्त कार्रवाई करने की मांग की है. हैशटैग और पोस्ट तेजी से ट्रेंड कर रहे हैं, जिससे अधिकारियों पर आरोपों का जवाब देने का भारी दबाव पड़ रहा है.  First Updated : Sunday, 06 October 2024