NCR के बच्चों के साथ भेदभाव! जहरीली हवा में भी स्कूल जाने को मजबूर
दिल्ली सरकार ने रविवार को घोषणा की कि राजधानी में बढ़ते प्रदूषण के स्तर को देखते हुए सोमवार से कक्षा 11 तक के सभी स्कूलों के छात्र ऑनलाइन मोड में चले जाएंगे. इस बीच सवाल उठ रहा है कि NCR में स्कूल क्यों नहीं बंद किया गया है? आखिर क्यों नोएडा-गाजियाबाद के बच्चों को जहरीली हवा में भी स्कूल जाना पड़ रहा है?
दिल्ली-एनसीआर में हवा में घुला जहर अब सभी के लिए परेशानी बनता जा रहा है. दिल्ली में तो बढ़ते प्रदूषण के चलते सरकार ने स्कूलों को बंद करने का फैसला ले लिया है, पर सवाल ये उठता है कि क्या ये जहरीली हवा सिर्फ दिल्ली के बच्चों को ही नुकसान पहुंचाती है? क्योंकि नोएडा और गाजियाबाद के स्कूल अब भी खुले हैं और बच्चे इस जहरीली हवा में स्कूल जाने को मजबूर हैं.
प्रदूषण का असर दिल्ली, हरियाणा और पूरे एनसीआर पर बराबर पड़ता है. ऐसे में यह सवाल उठना लाजमी है कि बच्चों की सुरक्षा के लिए सभी जगह समान कदम क्यों नहीं उठाए जा रहे हैं? नोएडा और गाजियाबाद के बच्चों को भी जहरीली हवा से सुरक्षित रखने के लिए स्कूलों को बंद करने जैसे कदम उठाए जाने चाहिए.
दिल्ली में ग्रैप-4 लागू, स्कूल बंद
दिल्ली सरकार ने प्रदूषण के गंभीर स्तर को देखते हुए ग्रैप-4 (Graded Response Action Plan) लागू कर दिया है. सोमवार से दिल्ली में 6 वीं क्लास के ऊपर के स्कूलों को बंद करने का आदेश जारी किया गया है. इसके साथ ही दिल्ली में भारी वाहनों और पेट्रोल-डीजल से चलने वाले ट्रकों पर भी पाबंदी लगा दी गई है. स्कूलों में ऑनलाइन क्लासेस शुरू करने का विकल्प रखा गया है ताकि बच्चों की पढ़ाई पर असर न पड़े.
हरियाणा में भी कुछ जिलों में स्कूल बंद
दिल्ली के साथ ही हरियाणा के कुछ जिलों में भी प्रदूषण का स्तर इतना बढ़ गया है कि वहां प्राइमरी स्कूलों को बंद करने का निर्णय लिया गया है. हरियाणा के चार जिलों में बच्चों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए 5वीं तक के बच्चों के लिए फिजिकल क्लासेस को बंद कर दिया गया है. हालांकि, नोएडा-गाजियाबाद के स्कूली बच्चों को जहरीली हवा में भी स्कूल जाना पड़ रहा है.
नोएडा-गाजियाबाद के स्कूली बच्चों के साथ भेदभाव
जहां दिल्ली और हरियाणा ने बच्चों के स्वास्थ्य को देखते हुए एहतियात बरतते हुए स्कूल बंद कर दिए हैं, वहीं नोएडा और गाजियाबाद के बच्चे अब भी इस जहरीली हवा में स्कूल जाने को मजबूर हैं. यह भेदभाव क्यों किया जा रहा है? आखिर हवा का असर पूरे एनसीआर पर है. नोएडा और गाजियाबाद के स्कूलों में छोटे बच्चे अभी भी इस खतरनाक वायु प्रदूषण के बीच पढ़ने जा रहे हैं.
दिल्ली में 5 दिन से डेंजर लेवल पर है प्रदूषण
दिल्ली की वायु गुणवत्ता पिछले 5 दिनों से "गंभीर" श्रेणी में बनी हुई है. सेंट्रल पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड (CPCB) के अनुसार, रविवार को दिल्ली के 14 स्थानों पर एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 400 के पार दर्ज किया गया था, जो बेहद खतरनाक लेवल को दर्शाता है. हरियाणा के कई जिलों में भी AQI 400 के करीब पहुंच चुका है, लेकिन नोएडा-गाजियाबाद में अभी भी कोई एहतियाती कदम नहीं उठाए गए हैं.