UP News: हमारे समाज में डॉक्टर को भगवान् का दर्जा दिया गया है लेकिन आजकल डॉक्टर जान बचाने की जगह वसूली करना शुरू कर दिए है. जी हां एक ऐसा ही मामला सामने आया है गाजीपुर के राजकीय मेडिकल कॉलेज से जहां एक वृद्ध महिला के इलाज के दौरान एक विवाद उठ खड़ा हुआ है. दरअसल डॉक्टरों पर मरीजों से अनावश्यक पैसे वसूलने का आरोप लगा है जिसने स्वास्थ्य सेवाओं की पारदर्शिता पर कई सवाल खड़े कर दिए हैं.
डॉक्टर्स ने मांगा मनमाना पैसा
दरअसल मंगलावती जायसवाल नाम की एक 85 वर्षीय महिला को अपने दाहिने कूल्हे में दर्द की शिकायत थी जिसे गाजीपुर के जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया. यहां हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ. वैभव सिंह ने उन्हें ऑपरेशन की सलाह दी. ऑपरेशन के लिए डॉक्टर ने डेढ़ लाख रुपये की मांग की. जब महिला के परिजनों ने इतनी बड़ी राशि देने में असमर्थता जताई तो डॉक्टर ने इसे घटाकर 85,000 रुपये कर दिया.
परिजनों ने की शिकायत
महिला के परिजनों ने इस मामले की शिकायत मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. आनंद मिश्रा से की. समाजसेवी संगठनों ने भी इस पर आपत्ति जताते हुए कहा कि ऑपरेशन के लिए आवश्यक प्लेट बाजार में 10 से 20 हजार रुपये में मिलती है, जबकि डॉक्टर ने डेढ़ लाख रुपये की मांग की थी जो गलत था.
प्रिंसिपल ने बैठायी जांच कमेठी
प्रिंसिपल डॉ. आनंद मिश्रा ने कहा कि उन्होंने इस शिकायत को गंभीरता से लिया है और इसके लिए एक जांच कमेटी गठित की है. उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि मेडिकल कॉलेज में इलाज निशुल्क है और शासन द्वारा निर्धारित फीस केवल 400 रुपये है. सर्जिकल सामान मरीज के परिजनों को खुद खरीदना होता है.
इस पूरे प्रकरण ने स्वास्थ्य सेवा में पारदर्शिता और ईमानदारी की आवश्यकता को उजागर किया है. मामले की जांच के बाद ही सच्चाई सामने आएगी और उचित कार्रवाई की जाएगी. First Updated : Thursday, 05 September 2024