Haryana Assembly Elections: हरियाणा में अगले महीने यानी 5 अक्टूबर को विधानसभा का चुनाव होने वाला है. चुनाव को लेकर सभी राजनीतिक दल तैयारियों में जुट गए हैं. कांग्रेस और आप के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर कड़ा संघर्ष चल रहा है. दोनों ही पार्टियों के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर काफी बातचीत चल रही है. मंगलवार तक कांग्रेस की केंद्रीय चुनाव समिति ने 90 में से 66 सीटों के लिए उम्मीदवारों के नामों को मंजूरी दे दी है.
इस बीच अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली आम आदमी पार्टी (आप) आगामी हरियाणा विधानसभा चुनावों के लिए 10 सीटें मांग रही है, जबकि कांग्रेस सात सीटें देने को तैयार है. दोनों पार्टियों के बीच चल रहे सीट बंटवारे पर भाजपा नेता अनिल विज ने निशाना साधा है. विज ने कहा कि कांग्रेस के पास हरियाणा में अकेले चुनाव लड़ने की ताकत नहीं है और इसलिए वह आप के साथ नजदीकी बढ़ा रही है.
सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि आम आदमी पार्टी (आप) 10 सीटों की मांग कर रही है. हालांकि, कांग्रेस कुल 90 सीटों में से केवल सात देने को तैयार है. आप ने 10 लोकसभा क्षेत्रों में से प्रत्येक से एक सीट का दावा किया है. कांग्रेस की केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक के बाद अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के महासचिव दीपक बाबरिया ने कहा कि गठबंधन पर बातचीत शुरुआती चरण में है और कई विकल्पों पर विचार किया जा रहा है.
कांग्रेस कमेटी के महासचिव बाबरिया ने कहा, "कल और आज 90 सीटों में से 49 पर चर्चा हुई. शेष 41 सीटों के संबंध में स्क्रीनिंग कमेटी के निष्कर्ष सीईसी के समक्ष रखे गए हैं. पहले 34 सीटों (उम्मीदवारों) को अंतिम रूप दिया गया था और आज 41 में से 32 सीटों को अंतिम रूप दिया गया है.
इससे पहले, आप के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने उन खबरों का स्वागत किया कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी 5 अक्टूबर को हरियाणा में होने वाले चुनावों के लिए आप के साथ गठबंधन में रुचि रखते हैं. सिंह ने इस बात पर जोर दिया कि भाजपा को हराना सभी विपक्षी दलों की प्राथमिकता है. उन्होंने कहा कि गठबंधन के बारे में कोई भी निर्णय आम आदमी पार्टी (आप) के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल की मंजूरी से लिया जाएगा, जो वर्तमान में आबकारी नीति मामलों में जेल में हैं.
आप और कांग्रेस के बीच सीटों को लेकर चल रही बातचीत पर प्रतिक्रिया देते हुए भाजपा नेता अनिल विज ने कहा कि कांग्रेस के पास हरियाणा में अकेले चुनाव लड़ने की ताकत नहीं है और इसलिए वह आप के साथ ‘मिल-जुल रही है.’उन्होंने 5 अक्टूबर को होने वाले चुनावों के लिए चल रही गठबंधन की बैठक की आलोचना भी की. हरियाणा के पूर्व गृह मंत्री ने कहा, ‘कांग्रेस के पास हरियाणा में अपने दम पर चुनाव लड़ने की ताकत नहीं है, यही वजह है कि वे अब आप के साथ गठबंधन कर रहे हैं.'