Himachal: मंडी में तोड़ी जाएगी मस्जिद की 2 मंजिल, कमेटी को मिला 30 दिनों का समय

हिमाचल प्रदेश के मंडी में मौजूद एक और मस्जिद को लेकर विवाद खड़ा हो गया है. कहा जा रहा है कि यहां पर मस्जिद में कुछ फ्लोर का निर्माण अवैध तरीके से किया गया है. इसको लेकर नगर निगम की तरफ से एक मीटिंग बुलाई गई और यहां पर सुनवाई भी हुई. सुनवाई के दौरान मस्जिद की 2 मंजिलों को तोड़ने का आदेश दिया गया है. साथ ही 30 दिनों का समय भी दिया गया है.

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Mandi: हिमाचल प्रदेश के शिमला में मौजूद मस्जिद का विवाद थमा नहीं था कि अब मंडी की मस्जिद को लेकर बहस शुरू हो गई. हिमाचल के मंडी में अवैध मस्जिद को लेकर हिंदू संगठन प्रदर्शन कर रहे हैं. इसके बाद नगर निगम में सुनवाई हुई. सुनवाई के दौरान नगर निगम ने मस्जिद कमेटी को आदेश दिया है कि वो अवैध निर्माण को गिराए. नगर निगम की तरफ से मस्जिद कमेटी को 30 दिनों का समय भी दिया गया है. यह आदेश नगर निगम आयुक्त एचएस राणा की अदालत ने शुक्रवार को दिया है. 

30 वर्ष पुरानी यह मस्जिद मंडी के जेल रोड में पर मौजूद है. जिसकी तीन मंजिल हैं. आरोप लगाया जा रहा है कि इस मस्जिद की दो मंजिलें अवैध तौर पर बनाई गई हैं. जिन्हें अब तोड़ने का आदेश जारी किया गया है. हालांकि मस्जिद कमेटी के पास नगर निगम के आदेश को चुनौती देने का विकल्प मौजूद है. मस्जिद कमेटी तीस दिनों के अंदर आदेश को चैलेंज कर सकती है. 

मंडी के डिप्टी कमिश्नर (डीसी) अपूर्व देवगन ने शहर में मौजूदा कानून व्यवस्था के हालात के बीच भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की धारा 163 के तहत पाबंदी लगा दी थी. देवगन ने कहा कि इस मुद्दे पर चर्चा के लिए मंडी के नगर निकाय अधिकारियों और अन्य हितधारकों के साथ एक बैठक भी बुलाई गई है.

सुरक्षा उपायों के बारे में बात करते हुए मंडी की पुलिस अधीक्षक साक्षी वर्मा ने कहा, "कानून और व्यवस्था बनाए रखी जाएगी. विभिन्न स्रोतों से हमें जानकारी मिली है कि कुछ संगठनों ने यहां इकट्ठा होने का ऐलान किया है. 300 पुलिस कर्मियों को तैनात किया गया है और मंडी शहर की एंट्रीज पर पुलिस नाके लगाए गए हैं."

इस बीच, हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुखू ने लोगों से राज्य में शांति और भाईचारा बनाए रखने की अपील की. सर्वदलीय बैठक में बोलते हुए सुखू ने कहा कि कभी-कभी युवा ऐसे मुद्दों में शामिल हो जाते हैं और फिर राजनीति शुरू हो जाती है. उन्होंने आगे कहा,"सभी दलों के साथ चर्चा हुई और सभी सहमत हुए कि हिमाचल प्रदेश एक शांतिप्रिय राज्य है और सभी को काम करने का अधिकार है. ऐसा कुछ भी नहीं किया जाना चाहिए जो किसी विशिष्ट समुदाय को प्रभावित करे. हमने एक प्रस्ताव पास किया है. हम सभी से अपील करते हैं कि हिमाचल में शांति बनाए रखें और भाईचारा बनाए रखें."

First Updated : Friday, 13 September 2024