Suicide Case: बेंगलुरु के एक तकनीकी कर्मचारी की पत्नी और उसके परिवार द्वारा प्रताड़ना के कारण आत्महत्या की घटना के बाद, अब दिल्ली से भी हैरान कर देने वाली घटना सामने आई हैं. अरविंद भारती नाम के व्यक्ति ने कथित रूप से बलात्कार और दहेज के झूठे मामलों में फंसाए जाने के बाद आत्महत्या कर ली.
अरविंद द्वारा पुलिस स्टेशन के प्रभारी को संबोधित की गई एक लिखित शिकायत और उनकी कथित सुसाइड नोट में यह दावा किया गया कि उनकी पत्नी, ऋचा ने उन्हें और उनके परिवार को झूठे आरोपों में फंसाया और तलाक के बाद भी उन्हें परेशान करती रही. यमुना विहार के निवासी अरविंद ने लिखा कि वह "दिन-रात ब्लैकमेल और प्रताड़ित" किए जा रहे थे और उनकी मौत के लिए केवल ऋचा जिम्मेदार थी. उन्होंने यह भी कहा कि उन्हें पुलिस से कोई उम्मीद नहीं थी. बताया जा रहा है कि शिकायत पत्र उनकी मौत से एक दिन पहले लिखा गया था, लेकिन यह स्पष्ट नहीं है कि इसे पुलिस को कब सौंपा गया.
अरविंद, जो एक फिजियोथेरेपिस्ट के रूप में काम करते थे और बाद में एक कंप्यूटर कंपनी से जुड़े, उन्होंने 15 दिसंबर 2017 को आत्महत्या कर ली. उनकी मौत के बाद ऋचा को गिरफ्तार किया गया, लेकिन बाद में जमानत पर रिहा कर दिया गया. इस मामले में अभी सुनवाई जारी है.
अपने छह पन्नों के पत्र में अरविंद ने पुलिस को बताया कि उनकी पत्नी ने उन्हें इस चरम कदम उठाने के लिए मजबूर किया. उन्होंने लिखा कि 2008 में ऋचा के साथ उनकी लव मैरिज हुई थी, लेकिन शादी के कुछ समय बाद ही ऋचा का व्यवहार उनके और उनके परिवार के प्रति बदल गया.
उन्होंने लिखा, "वह झूठी पुलिस शिकायतें दर्ज करवाती थी, जिसके कारण हम कुछ ही दिनों के लिए साथ रह पाए. बाद में उसने मेरे खिलाफ एक झूठा दहेज मामला दर्ज करवाया. 2013 में दिल्ली की एक अदालत ने मुझे उस मामले से बरी कर दिया. आगे बताया कि 2016 में दोनों अलग हो गए, लेकिन कथित तौर पर प्रताड़ना बंद नहीं हुई. ऋचा अक्सर उनके ऑफिस और कोचिंग सेंटर तक उनका पीछा करती और अपमानित करती थी. उनकी इन हरकतों के कारण अरविंद की नौकरी भी चली गई.
अरविंद ने दावा किया कि उनकी पूर्व पत्नी ने उन पर कई बार झूठे बलात्कार के आरोप लगाए. एक घटना का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि पुलिस ने शारीरिक और मानसिक रूप से उन्हें प्रताड़ित किया और उनके खिलाफ शिकायत दर्ज करने से इनकार कर दिया.
उन्होंने लिखा कि एक बार "समझौते" के नाम पर उन्हें ऋचा के घर भेजा गया, जहां ऋचा के परिवार ने उन्हें कपड़े उतार कर कमरे में बंद कर दिया. उन्हें ना तो पानी दिया गया और न ही खाना.
कुछ दिनों बाद जब उनके भाई, विपिन, पुलिस के साथ उन्हें छुड़ाने पहुंचे, तब ऋचा ने उनके खिलाफ एक और झूठा बलात्कार मामला दर्ज करवा दिया.
अरविंद ने बताया कि ऋचा ने उनसे लगातार पैसों की मांग की. उन्होंने लिखा, "मैं किसी से शिकायत भी नहीं कर सकता, क्योंकि मुझे पता है कि मुझ पर एक और झूठा मामला दर्ज कर दिया जाएगा. उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि एक बार ऋचा ने जबरदस्ती उनका बैग छीन लिया, जिसमें ऑफिस का लैपटॉप, वॉलेट, बाइक के कागजात, पैसे और ₹32 लाख का कंपनी का चेक था.
चार पन्नों के सुसाइड नोट में अरविंद ने इसे अपना "आखिरी पत्र" बताया. उन्होंने अपने परिवार से आग्रह किया कि वे उनकी मौत का शोक न मनाएं. उन्होंने उन सामानों और दोस्तों का विवरण दिया, जिनसे उन्होंने पैसे उधार लिए थे.
अरविंद की मां ने अपने बेटे को याद करते हुए कहा, "मैं अरविंद की तस्वीर दीवार पर नहीं लगाती, क्योंकि आज भी उसकी बहुत याद आती है. उसकी पूर्व पत्नी को गिरफ्तार किया गया था, लेकिन बाद में जमानत मिल गई. मामला अभी भी अदालत में चल रहा है.
First Updated : Thursday, 12 December 2024