
18 महीने बाद जिंदा लौटी महिला, मर्डर के इलजाम में सजा काट रहे थे 4 लोग
MP Murder Case Twist: मध्य प्रदेश के मंदसौर में 18 महीने पहले मृत घोषित की गई एक महिला के अचानक जिंदा लौटने से सनसनी फैल गई है. इस मामले में चार लोगों को उसकी कथित हत्या के आरोप में जेल भेज दिया गया था, लेकिन अब ललिता बाई के जीवित होने से पूरी कहानी ही बदल गई है.

MP Murder Case Twist: मध्य प्रदेश के मंदसौर जिले से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहां 18 महीने पहले मृत घोषित की गई महिला अचानक जिंदा लौट आई. इस घटना से पुलिस, परिवार और प्रशासन सभी सकते में हैं, क्योंकि महिला की कथित हत्या के आरोप में चार लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया था.
ललिता बाई नाम की इस महिला की मौत मानकर उसके परिवार ने अंतिम संस्कार तक कर दिया था. लेकिन जब वह अचानक गांव लौटी, तो उसके पिता ने पुलिस को सूचना दी. इस खुलासे ने न्याय प्रक्रिया पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं.
गलत पहचान के कारण हुआ अंतिम संस्कार
ललिता बाई के पिता रमेश नानूराम बंच्छड़ा ने बताया कि 18 महीने पहले उन्हें एक क्षत-विक्षत शव दिखाया गया था. शव की पहचान शरीर पर मौजूद निशानों, एक टैटू और पैर में बंधे काले धागे के आधार पर की गई थी. यह मानते हुए कि शव ललिता का ही है, परिवार ने उसका अंतिम संस्कार कर दिया था.
हत्या के आरोप में 4 लोग गए थे जेल
शव की पहचान के बाद पुलिस ने हत्या का मामला दर्ज कर चार लोगों- इमरान, शाहरुख, सोनू और एजाज को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था. सभी को अदालत ने दोषी मानकर सजा सुनाई थी. लेकिन अब जब ललिता जीवित वापस आ गई है, तो इनकी गिरफ्तारी पर नए सिरे से जांच की मांग उठ रही है.
ललिता ने बताई अपनी आपबीती
ललिता ने बताया कि 18 महीने पहले वह शाहरुख के साथ भानुपरा चली गई थी. वहां दो दिन रुकने के बाद उसे 5 लाख रुपये में एक अन्य व्यक्ति, जिसका नाम भी शाहरुख था, को बेच दिया गया. इसके बाद वह करीब डेढ़ साल तक कोटा में रही और जब मौका मिला तो किसी तरह भागकर अपने गांव वापस आई.
आधिकारिक पहचान और पुलिस जांच
गांधी सागर थाने की प्रभारी तरूणा भारद्वाज ने बताया कि कुछ दिन पहले ललिता पुलिस स्टेशन पहुंची और बताया कि वह जीवित है. पुलिस ने उसके आधार कार्ड और वोटर आईडी से पहचान की पुष्टि की. पड़ोसियों और परिवारवालों ने भी उसकी पहचान सही मानी. इसके बाद पुलिस ने इस मामले की जानकारी वरिष्ठ अधिकारियों और थांदला पुलिस स्टेशन को दी है.