Generation Beta: आने वाला समय एक नई पीढ़ी के लिए तैयार हो रहा है, जिसे "जनरेशन बीटा" कहा जाएगा। 2025 में इस पीढ़ी की शुरुआत होने जा रही है, और इसे लेकर विशेषज्ञों का कहना है कि यह पीढ़ी तीव्र तकनीकी विकास और गहन सामाजिक बदलावों का सामना करेगी। यह पीढ़ी 2025 से लेकर 2039 तक फैली होगी और इस दौरान तकनीकी और पर्यावरणीय चुनौतियां उनके जीवन को आकार देंगी। इस लेख में हम जानते हैं कि जनरेशन बीटा की विशेषताएं क्या होंगी और समाज में इसका क्या प्रभाव होगा।
विशेषज्ञों के अनुसार, जनरेशन बीटा के लिए जलवायु परिवर्तन और स्थिरता एक सामान्य समस्या नहीं बल्कि एक जरूरी चुनौती होगी। यह पीढ़ी जलवायु परिवर्तन के गंभीर परिणामों को महसूस करेगी और इसके समाधान के लिए ठोस कदम उठाने की आवश्यकता को समझेगी। भविष्यवादी मार्क मैकक्रिंडल का कहना है कि जलवायु कार्रवाई और टिकाऊ जीवन उनके लिए प्राथमिकता होगी। पीढ़ी बीटा के शुरुआती वर्षों में जलवायु परिवर्तन, शहरीकरण, और टिकाऊ जीवन को लेकर बड़े बदलाव देखने को मिलेंगे।
तकनीकी दृष्टि से देखा जाए तो जनरेशन बीटा को स्मार्ट उपकरणों और कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) के साथ गहरे जुड़ाव का अनुभव होगा। वे न केवल रोजमर्रा के कामों में, बल्कि समस्याओं को हल करने के लिए भी इन तकनीकों का इस्तेमाल करेंगे। स्मार्टफोन, रोबोट, और अन्य तकनीकी उपकरणों का इस्तेमाल उनकी दिनचर्या का हिस्सा बन जाएगा। इसके साथ ही सोशल मीडिया का इस्तेमाल भी इस पीढ़ी के लिए अलग होगा, क्योंकि इससे पहले के पीढ़ी के मुकाबले सोशल मीडिया उनके लिए कुछ और मायने रख सकता है।
जनरेशन बीटा उन अनुभवों से बचेगा जो पिछले समूहों ने महामारी के दौरान अनुभव किए थे। कोविड-19 के चलते स्कूलों की बंदी और सामाजिक अलगाव ने पिछले समूहों को प्रभावित किया था। लेकिन जनरेशन बीटा का यह अनुभव अलग होगा, और वे महामारी के बाद की दुनिया में बड़े होंगे। इसका मतलब है कि वे इन घटनाओं को इतिहास के रूप में जानेंगे, लेकिन ये उनके लिए वास्तविक अनुभव नहीं बनेंगे।
जब जनरेशन बीटा चुनावों में हिस्सा लेने के लिए तैयार होगा, तो यह देखना दिलचस्प होगा कि वह किस तरह के नेताओं को चुनता है। विशेषज्ञों का मानना है कि जैसे-जैसे जनरेशन बीटा बड़ी होगी, मिलेनियल्स और जनरेशन Z के नेता उनके सामने होंगे। जलवायु परिवर्तन उनके लिए एक बड़ी चिंता बनी रहेगी, और चुनावों में उनकी प्राथमिकता इसी मुद्दे पर केंद्रित होगी। साथ ही, जैसे-जैसे वे राजनीतिक सक्रियता में शामिल होंगे, यह सुनिश्चित किया जाएगा कि उनका ध्यान दुनिया की स्थिरता और पर्यावरण की रक्षा पर होगा।
जलवायु परिवर्तन एक बड़ी चुनौती
जनरेशन बीटा, 2025 से लेकर 2039 तक, तकनीकी प्रगति और समाजिक बदलावों के बीच अपनी पहचान बनाएगा। इस पीढ़ी के लिए तकनीक और जलवायु परिवर्तन एक बड़ी चुनौती होगी और यह देखा जाएगा कि वे कैसे इन मुद्दों से निपटने के लिए नई रणनीतियाँ और समाधान अपनाते हैं। यह पीढ़ी न केवल तकनीकी रूप से उन्नत होगी, बल्कि उनके सामाजिक और पर्यावरणीय दृष्टिकोण भी पूरी तरह से बदल चुके होंगे। इस नई पीढ़ी का उदय निश्चित रूप से समाज में बदलाव लाएगा। First Updated : Monday, 30 December 2024