Grok AI Chatbot Launched : एलन मस्क ने AI चैटबॉट Grok को किया लॉन्च, इन यूजर्स को होगा फायदा
Grok AI Chatbot Feather : एलन मस्क ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस चैटबॉट Grok AI को लॉन्च कर दिया है. चैटबॉट के पास एक्स की शुरुआत तक के सभी सवालों के जवाब मिलते हैं.
Grok AI Chatbot Feature : दुनिया के सबसे अमीर शख्स ने एलन मस्क (Elon Musk) ने अपने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस चैटबॉट को लॉन्च कर दिया है. मस्क का ग्रोक बाजार में पहले से उपलब्ध OpenAI का चैटजीपीटी, गूगल का बार्ड और एंथ्रोपिक के क्लाउट चैटबॉट को टक्कर देगा. इस बारे में मस्क ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पोस्ट में जानकारी दी है. Grok AI Chatbot का इस्तेमाल अभी सिर्फ X के प्रीमियम सब्सक्रइबर्स को ही मिलेगा. आगे हम इसकी खासियत के बारे में बताएंगे.
Grok AI चैटबॉट में क्या है खास
एलन मस्क का Grok AI Chatbot बहुत ही एडवांस है. इसकी लॉन्चिंग के वक्त xAI ने कहा था कि चैटबॉट के पास एक्स की शुरुआत तक के सभी सवालों के जवाब मिलते हैं. साथ ही ग्रोक चैटजीपीटी, बार्ड वेब, किताब और विकिपीडिया से भी जानकारी एकत्रित करने में सक्षम है. कंपनी का ये भी दावा है कि आप Grok AI Chatbot से ऐसे सवाल भी पूछ सकते हैं जिनका जवाब दूसरे एआई टूल के पास भी नहीं होगा.
Grok AI (beta) is now rolled out to all 𝕏 Premium+ subscribers in the US.
— Elon Musk (@elonmusk) December 8, 2023
There will be many issues at first, but expect rapid improvement almost every day. Your feedback is much appreciated.
Will expand to all English language users in about a week or so. Japanese is next…
Grok AI चैटबॉट को लेकर मस्क का बयान
एलन मस्क ने Grok AI चैटबॉट लेकर कहा कि यह ओपनएआई के चैटजीपीटी को कड़ी टक्कर देगा. मस्क ने 4 नवंबर, 2023 को ग्रोक के बारे में घोषणा की थी. यह ग्रोक-1 नाम का पहला एआई मॉडल है. वह ओपनएआई के को-फाउंडर में से एक हैं. 2018 में उन्होंने कंपनी के बोर्ड से इस्तीफा दे दिया था.
प्रीमियम मेंबर्स देते हैं इतना चार्ज
एलन मस्क ने साल 2022 में एक्स (पहले ट्विटर) को खरीदा था. इसके बाद उन्होंने ट्विटर का नाम, लोगो, पॉलिसी सहित कई चीजों को बदल दिया है. मस्क प्लेटफॉर्म में एक के बाद एक फीचर को रोलआउट कर रहे हैं. उन्होंने अक्टूबर, 2023 में प्रीमियम+यूजर्स के लिए पेड ब्लू टिक पॉलिसी लेकर आए थे. भारत में वेब पर 1300 रुपये महीना और 2150 रुपये मोबाइल ऐप्स के लिए चार्ज देना पड़ता है.