'भारत ने सिखाया अनिश्चितता को अपनाना', जापानी CEO ने शेयर किए जीवन के अनुभव
नाओताका निशियामा एक साल पहले भारत में अपनी नई ज़िंदगी शुरू करने के लिए बेंगलुरु आए थे. अब, उन्होंने बताया है कि कैसे उनके इस फ़ैसले ने उन्हें बदल दिया.

जापानी उद्यमी नाओताका निशियामा, जो एक साल पहले भारत में स्थानांतरित हुए थे, ने अपनी यात्रा के अनुभवों को साझा करते हुए बताया कि कैसे इस देश ने उन्हें व्यक्तिगत और व्यावसायिक रूप से बदल दिया. अपने लिंक्डइन पोस्ट में, उन्होंने यह भी बताया कि भारत ने उन्हें "जटिलता में आगे बढ़ने की शक्ति," "अनिश्चितता को अपनाने की मानसिकता," और "विविधता में विश्वास" सिखाया है.
निशियामा ने लिखा कि जब वह भारत पहुंचे, तो वह "सिर्फ़ एक सूटकेस और एक सपना लेकर" आए थे. एयरपोर्ट से बाहर निकलते ही उन्हें "नई दुनिया" का सामना करना पड़ा, लेकिन समय के साथ उन्होंने अपनी जगह पा ली. उनका आत्मविश्वास और प्रतिबद्धता मजबूत हुआ, और अब वह अपने अनुभवों से यह मानते हैं कि उन्होंने "परिवर्तन के भीतर मूल्य बनाना" सीखा है.
सोशल मीडिया पर प्रतिक्रियाएं
निशियामा के पोस्ट को सोशल मीडिया पर कई सकारात्मक प्रतिक्रियाएँ मिलीं. एक व्यक्ति ने कहा, "यह बहुत बढ़िया लिखा है, और मैं लेखक से पूरी तरह सहमत हूँ." एक अन्य टिप्पणी में लिखा गया, "भारत की शक्ति के बारे में सुंदर अभिव्यक्ति, शुभकामनाएँ!" तीसरे ने लिखा, "मैं इससे गहरे स्तर पर जुड़ता हूँ, यह अनुभव ने मुझे खुद को और दूसरों को जैसा हैं वैसा स्वीकार करना सिखाया." चौथे ने कहा, "यह पोस्ट हमें नए चुनौतीपूर्ण परिवेश में अनुकूल होने के बारे में सिखाती है."
नाओताका निशियामा की पृष्ठभूमि
नाओताका निशियामा ने जापान के क्वांसी गाकुइन विश्वविद्यालय से बीकॉम की डिग्री प्राप्त की और बाद में ली कुआन यू स्कूल ऑफ पब्लिक पॉलिसी से अपनी शिक्षा जारी रखी. 2005 में उन्होंने अपनी पहली कंपनी स्थापित की और फिर सनटोरी होल्डिंग्स और डेलोइट जैसी प्रतिष्ठित कंपनियों में काम किया. 2019 में, उन्होंने एआई-आधारित एचआर प्लेटफ़ॉर्म टैलेंडी होल्डिंग्स की स्थापना की.