Alien On Earth: हार्वर्ड यूनिवर्सिटी ने हाल ही में एलियन को लेकर बड़ा खुलासा किया है. उनके अनुसार एलियन असल में हमेशा से पृथ्वी पर रहे होंगे और हमारे ही साथ ही छिपकर अपना विकास कर रहे हैं. अपने एक शोध पत्र में उन्होंने इस बारे में बताया है. यह ‘क्रिप्टोटेरेस्ट्रियल’ प्राणियों की ऐसी हाइपोथीसिस है जिसके तहत दो चीजें हो सकती हैं- एक या तो एलियन छिपकर रह रहे हैं या फिर कुछ और बुद्धिमान समूह या संस्थाएं गुप्त रूप से रह रही हैं.
डेली मेल की एक रिपोर्ट के अनुसार, शोधकर्ताओं ने तर्क दिया कि हमारे 80 प्रतिशत महासागरों का मैप नहीं है, तर्क दिया कि धरती पर इन कथित एलियन के लिए रहने की बहुत जगह हैं. यह जरूरी नहीं कि एलियंस दूसरी दुनिया से आए हों, लेकिन वे शुरू से ही हमारे बीच रह रहे होंगे. शोधकर्ताओं ने प्राचीन सभ्यताओं का भी हवाला दिया, यह सुझाव देते हुए कि अज्ञात सभ्यताएं अभी भी पृथ्वी पर छिपी हो सकती हैं.
वैज्ञानिकों ने पृथ्वी की सतह के नीचे जो कुछ है उसकी रहस्यमय चीजों पर जोर दिया. उन्होंने अनुमान लगाया कि संभवतः मनुष्यों जैसी दिखने वाली एक और प्रजाति सैकड़ों मील नीचे रह रही है. उनके अध्ययन के अनुसार, इन उन्नत सभ्यताओं के आधार हमारी कल्पना से परे स्थानों पर हो सकते हैं, जैसे कि ज्वालामुखियों के नीचे, गहरे पानी के नीचे, या चंद्रमा के अंधेरे क्षेत्रों में जो अभी तक खोजे नहीं गए हैं.
इससे पहले, रॉयल एस्ट्रोनॉमिकल सोसाइटी के मासिक पत्रिका में प्रकाशित एक अध्ययन ने रहस्यमय ऊर्जा उत्सर्जित करने वाले सात सितारों की पहचान की थी. इन सितारों का आकार हमारे सूर्य के 7 से 8 प्रतिशत के बीच है. शोधकर्ताओं के अनुसार, इन सितारों की ऊर्जा को संभवतः एलियन तकनीक द्वारा छीना जा रहा है. एक सर्वे के दौरान पता चला है कि लगभग 60 सितारे बड़े एलियन पावर प्लांट से घिरे हुए प्रतीत होते हैं, जो दर्शाता है कि ये संरचनाएं सितारों से ऊर्जा निकाल रही होंगी. खगोलविदों का सुझाव है कि यह एलियंस द्वारा सितारों से ऊर्जा प्राप्त करने के लिए पावर प्लांट का उपयोग करने का सबूत हो सकता है. First Updated : Thursday, 13 June 2024