सोशल मीडिया की ताकत देखिये जरा.... फेसबुक फ्रेंड निकला लड़की का असली पिता!
तमुना नाम की एक महिला ने फेसबुक के जरिए अपने असली मां-बाप को खोज निकाला. पहले तो उसे अपनी मां का पता चला, लेकिन असली झटका तब लगा जब पता चला कि उसका पिता पिछले तीन साल से उसी की फेसबुक फ्रेंड लिस्ट में है. सोशल मीडिया ने फिर साबित कर दिया कि यह सिर्फ कनेक्शन का जरिया नहीं, बल्कि बिछड़े रिश्तों को जोड़ने की ताकत भी रखता है. पूरी कहानी आपको हैरान कर देगी.
Viral Story: इंटरनेट और सोशल मीडिया की ताकत आज किसी से छिपी नहीं है. यह सिर्फ दूरियों को ही नहीं मिटाता बल्कि रिश्तों को जोड़ने का एक ऐसा जरिया बन गया है, जिसकी मिसालें रोज सामने आ रही हैं. हाल ही में एक ऐसा ही हैरान कर देने वाला मामला सामने आया, जब 39 साल की तमुना को अपने पिता का पता चला. हैरानी की बात ये है कि वो शख्स पिछले तीन सालों से उसके फेसबुक फ्रेंड लिस्ट में था।
मां-बाप की खोज में जुटी थी तमुना
तमुना का जन्म 1984 में हुआ था। एक दिन उसे अपने घर में एक जन्म प्रमाणपत्र मिला, जिसमें दर्ज तारीख गलत थी। इसी बात ने उसके मन में शक पैदा किया कि कहीं उसे गोद तो नहीं लिया गया। उसने सच जानने के लिए फेसबुक पर एक ग्रुप बनाया और वहां अपनी मां और पिता को खोजने की अपील शुरू कर दी।
कुछ समय बाद उसे एक व्यक्ति ने बताया कि वह एक महिला को जानता है, जिसने उसी तारीख को एक बेटी को जन्म दिया था। तमुना ने उस महिला से संपर्क किया, लेकिन महिला ने गुस्से में यह कहकर बात से इनकार कर दिया कि उसकी कोई औलाद नहीं है।
डीएनए टेस्ट ने सुलझाई पहली गुत्थी
हालांकि, तमुना ने हार नहीं मानी। उसने फिर फेसबुक के जरिए अपनी खोज जारी रखी। आखिरकार, उसे एक महिला ने बताया कि उसकी चाची ने अपनी गर्भावस्था छिपाई थी। जब तमुना ने डीएनए टेस्ट कराया, तो यह साबित हो गया कि वह महिला उसकी असली मां थी।
फेसबुक फ्रेंड निकला असली पिता
मां से मिलने के बाद तमुना ने अपने पिता के बारे में पूछा। मां ने बताया कि उसके पिता का नाम गुरगेन कोरावा है। यह सुनकर तमुना हैरान रह गई, क्योंकि वह शख्स पिछले तीन सालों से उसके फेसबुक फ्रेंड लिस्ट में था।
जब तमुना ने गुरगेन से संपर्क किया, तो उसने स्वीकार किया कि वह उसकी खोज के बारे में जानता था और उसकी हर कोशिश पर नजर रख रहा था।
पहले भी हो चुके हैं ऐसे चमत्कार
यह पहला मामला नहीं है, जब सोशल मीडिया ने परिवारों को जोड़ने का काम किया हो। इससे पहले भी एक महिला ने अपने 70 साल के चाचा को 50 साल बाद इंटरनेट के जरिए खोजा था।
सोशल मीडिया की असली ताकत
तमुना की कहानी यह साबित करती है कि सोशल मीडिया सिर्फ मनोरंजन का जरिया नहीं है। यह रिश्तों को जोड़ने और बिछड़े परिवारों को फिर से मिलाने का एक सशक्त माध्यम बन चुका है। इंटरनेट की इस ताकत ने एक बार फिर साबित कर दिया कि यह दुनिया को और करीब लाने में कितनी अहम भूमिका निभा रहा है।