नर्स का डरावना अनुभव, सात फीट की खौफनाक परछाई और मौत का काला साया
डॉ. कॉनर ने साझा किया कि रात की ड्यूटी पर तैनात एक नर्स ने ऐसी घटना का सामना किया जो किसी की भी हिम्मत को तोड़ सकती है. उस रात, नर्स एक ऐसे मरीज की देखभाल कर रही थी, जो अपनी अंतिम सांसें ले रहा था. मरीज अत्यधिक डर और बेचैनी से जूझ रहा था, जिसके कारण हर 15 मिनट पर उसकी हालत की निगरानी की जा रही थी. लेकिन, उस रात जो कुछ हुआ, वह केवल डरावना ही नहीं, बल्कि असाधारण भी था.
Viral News: अस्पतालों में जिंदगी और मौत की जंग रोज लड़ी जाती है, लेकिन क्या हो जब मौत एक भयानक परछाई के रूप में सामने खड़ी हो? एक नर्स की ड्यूटी के दौरान ऐसा अनुभव हुआ जिसने उसकी रूह कंपा दी. सोशल मीडिया पर इस घटना की कहानी चर्चा का विषय बनी हुई है.
नर्स का डरावना अनुभव
आपको बता दें कि डॉ. एंड्रिया ओ'कॉनर, जो अपने यूट्यूब चैनल पर मेडिकल पेशे में घटित विचित्र घटनाओं को साझा करती हैं, हाल ही में एक नर्स के अनुभव का जिक्र किया. उस नर्स की रात की ड्यूटी एक ऐसे मरीज के पास थी, जो अपनी आखिरी सांसें ले रहा था. मरीज बेचैनी और डर के कारण बार-बार जांच की मांग कर रहा था.
सात फीट की खौफनाक परछाई
वहीं बता दें कि नर्स ने बताया कि रात के अंधेरे में जब वह मरीज के कमरे की ओर बढ़ी, तो उसने दरवाजे से अंदर झांकते हुए कुछ ऐसा देखा, जिसने उसे जड़ कर दिया. मरीज के बेड के पास एक लंबी, करीब सात फीट ऊंची परछाई खड़ी थी. परछाई ने काले रंग का लबादा ओढ़ा हुआ था और वह मरीज के ऊपर झुकी हुई थी, जैसे उसकी रूह को छीनने आई हो.
डर और दहशत का माहौल
बताते चले कि नर्स इस दृश्य को देखकर इतनी सहम गई कि वह दरवाजे पर ही ठिठक गई. उसके पैर जैसे जड़ हो गए और दिमाग ने काम करना बंद कर दिया. कमरे में मौजूद मरीज अकेला था और उसकी हालत लगातार बिगड़ रही थी. नर्स ने खुद को संभालने की कोशिश की, लेकिन वह उस खौफनाक दृश्य को भुला नहीं पाई.
मेडिकल फील्ड में ऐसी घटनाएं आम?
इसके अलावा आपको बता दें कि मेडिकल फील्ड से जुड़े लोग अक्सर ऐसी घटनाओं का जिक्र करते हैं. कुछ इसे महज भ्रम मानते हैं, तो कुछ इसे किसी अन्य दुनिया की शक्ति, नर्सों और डॉक्टरों का कहना है कि मौत के करीब पहुंचने वाले मरीजों के साथ अजीब घटनाएं होना आम बात है.
सवाल और सोचने का विषय
बहरहाल, क्या यह महज एक मनोवैज्ञानिक प्रभाव था या वाकई कुछ ऐसा था जिसे विज्ञान अब तक समझ नहीं पाया है? इस कहानी ने लोगों को न केवल डराया है, बल्कि उन्हें सोचने पर भी मजबूर कर दिया है. चाहे जो भी हो, इस घटना ने यह साबित कर दिया कि मौत का खौफ सिर्फ मरीजों तक सीमित नहीं है, बल्कि कभी-कभी इसका साया देखने वालों को भी दहला देता है.